चुन्नीलाल प्रधान की रिपोर्ट
कर्नलगंज, गोण्डा। जहाँ एक तरफ नगर पालिका चुनाव को लेकर क्षेत्र में चुनावी सरगर्मियां काफी तेज हो गई हैं वहीं दूसरी ओर मनमाने एवं फर्जी तरीके से बिना कस्बे में सम्मिलित गांवों के सैकड़ों लोगों को नगर की मतदाता सूची में शामिल करने को लेकर शिकायतों का दौर भी जारी है। इसी क्रम में ग्राम कादीपुर के रग्घापुरवा निवासी बृजेन्द्र पुत्र राम नरायन ने मुख्यमंत्री, राज्य निर्वाचन आयोग सहित कई आला अधिकारियों को पत्र भेजकर तहसीलदार एवं बीएलओ पर अभद्रता करने एवं जातिसूचक शब्दों का प्रयोग कर कार्यवाही ना करने का गंभीर आरोप लगाते हुए कार्यवाही की मांग की है।
भेजे गये पत्र में कहा गया है कि पीड़ित बृजेंद्र अनुसूचित जाति का गरीब व्यक्ति है। प्रार्थी के ग्राम सभा के मात्र तीन पुरवे बृजलाल पुरवा,गौतम पुरवा एवं लाला पुरवा नगर पालिका करनैलगंज क्षेत्र में सम्मिलित किए गए हैं, परंतु कस्बे की मतदाता सूची में अनुचित व मनमाने तरीके से रग्घापुरवा और कुर्मिन पुरवा को भी शामिल कर लिया गया है। जिसके संबंध में सैकड़ों ग्रामीणों ने स्थानीय अधिकारियों को संयुक्त रूप से प्रार्थनापत्र दिया है, जिस पर एसडीएम हीरालाल ने तहसीलदार को जांच करके रिपोर्ट देने को कहा था। लेकिन काफी दिन बीत जाने के बाद भी मतदाता सूची तैयार करने में लगे अधिकारियों कर्मचारियों की हठधर्मिता के चलते मतदाता सूची से नाम ना हटाए जाने से अनुसूचित जाति के लोगों को गांवसभा के प्रधानमंत्री आवास सहित अन्य योजनाओं से वंचित होना पड़ रहा है और काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है।
शिकायत में यह भी कहा गया है कि उक्त संबंध में व्यक्तिगत रूप से मिलने पर तहसीलदार कर्नलगंज एवं बीएलओ द्वारा अपमानित करते हुए जातिसूचक (कोरी) शब्दों का भी प्रयोग किया जा चुका है और मतदाता सूची से नाम हटाने की कार्यवाही अभी तक नहीं की गई है। वहीं कस्बे की मतदाता सूची में नाम शामिल हो जाने से उन्हें प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना का लाभ नहीं मिल रहा है एवं ग्राम के प्रधानमंत्री आवास योजना की चयनित सूची से नाम भी हटा दिया गया है। जिससे विवश होकर पीड़ित ने प्रार्थना पत्र देकर संपूर्ण प्रकरण की टीम गठित करके निष्पक्ष जांच कराने एवं दोषी जनों के विरुद्ध प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज कराते हुए आवास से वंचित ना किए जाने की मांग मुख्यमंत्री सहित अन्य उच्चाधिकारियों से की है।
पत्र में भी यह भी अवगत कराया है यदि एक सप्ताह में कार्यवाही ना की गई तो माननीय उच्च न्यायालय की शरण लेने पर बाध्य होना पड़ेगा,जिसकी संपूर्ण जिम्मेदारी अधिकारियों की होगी।
इस संबंध में एसडीएम हीरालाल से जब संपर्क करने का प्रयास किया गया तो उनका फोन नेटवर्क क्षेत्र से बाहर बता रहा था वहीं संयुक्त खंड विकास अधिकारी श्रीकांत तिवारी ने बताया कि उच्चाधिकारियों का निर्देश है कि नगर की मतदाता सूची में जिनका नाम शामिल हो गया है उन्हें ग्राम सभा का कोई लाभ नहीं दिया जा सकता है। इसलिए पात्र होते हुए उनका नाम लाभार्थी सूची से हटा दिया गया है।
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Author: samachar
"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."