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बांदा

निडर और बेखौफ अंदाज के लिए मशहूर इस महिला अधिकारी ने मुख्तार अंसारी की नींद उड़ा दी थी, पढिए कौन है वो? 

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संतोष कुमार सोनी की रिपोर्ट

उत्तर प्रदेश सरकार ने मंगलवार को कई जिलों के जिलाधिकारियों का तबादला किया। इन तबादलों में एक ऐसा नाम भी शामिल है जिसने खतरनाक माफिया मुख्तार अंसारी के खिलाफ सख्त रुख अपनाया था। बांदा की डीएम दुर्गा शक्ति नागपाल का तबादला अब लखीमपुर कर दिया गया है। 

दुर्गा शक्ति नागपाल की सख्ती ने मुख्तार अंसारी को किया मजबूर

जब मुख्तार अंसारी बांदा जेल में था, उस समय जिले की डीएम दुर्गा शक्ति नागपाल थीं। उनकी सख्ती और कड़ी निगरानी के कारण मुख्तार अंसारी को सभी नियम कायदों का पालन करना पड़ा। दुर्गा शक्ति नागपाल की सख्त नीतियों और अदम्य साहस ने मुख्तार अंसारी की नींदें उड़ा दी थीं। 

दुर्गा शक्ति नागपाल: एक निडर और बेखौफ अधिकारी

दुर्गा शक्ति नागपाल 2010 बैच की यूपी कैडर की IAS अधिकारी हैं। उन्होंने बी.टेक में स्नातक किया और उसके बाद IAS अधिकारी बनीं। अपने करियर के शुरुआती दिनों में ही उन्होंने अवैध खनन के खिलाफ सख्त कार्रवाई करके अपनी पहचान बनाई थी। उनके निडर और बेखौफ अंदाज के कारण ही वह चर्चा में रहीं। 

निलंबन और बहाली

पिछले साल दुर्गा शक्ति नागपाल को उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा निलंबित कर दिया गया था, लेकिन बाद में योगी सरकार ने उन्हें बांदा जिले के जिला मजिस्ट्रेट के रूप में बहाल कर दिया। उनकी साहसिकता और निडर स्वभाव ने उन्हें हमेशा सुर्खियों में बनाए रखा।

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करियर के शुरुआती दिन

अपने करियर के शुरुआती दिनों में ही दुर्गा शक्ति नागपाल ने अवैध खनन के खिलाफ कार्रवाई करके अपनी पहचान बनाई थी। हालांकि, इस दौरान उन्हें कई तरह के आरोपों का सामना भी करना पड़ा, लेकिन उनके अदम्य साहस ने उन्हें हमेशा मजबूती से खड़ा रखा।

नई जिम्मेदारी

अब दुर्गा शक्ति नागपाल को लखीमपुर का डीएम नियुक्त किया गया है। उनकी यह नई नियुक्ति एक नई चुनौती और अवसर के रूप में देखी जा रही है, जहां वह अपने निडर और सख्त प्रशासनिक रवैये के लिए जानी जाएंगी।

दुर्गा शक्ति नागपाल का तबादला एक महत्वपूर्ण घटनाक्रम है, जो यह दिखाता है कि उत्तर प्रदेश सरकार अपने अधिकारियों की कड़ी मेहनत और साहस को पहचानती है और उन्हें नई जिम्मेदारियों के साथ पुरस्कृत करती है।

प्रारंभिक जीवन और शिक्षादुर्गा शक्ति नागपाल का जन्म 25 जून 1985 को दिल्ली में हुआ था। उनका गृह राज्य दिल्ली है और वह 2010 बैच की उत्तर प्रदेश कैडर की IAS अधिकारी हैं। आईएएस अधिकारी बनने से पहले दुर्गा शक्ति नागपाल ने बी.टेक में स्नातक की डिग्री हासिल की थी। उनका दृढ़ संकल्प और कड़ी मेहनत रंग लाई जब उन्होंने यूपीएससी परीक्षा में 20वीं रैंक हासिल की और प्रतिष्ठित आईएएस कैडर में प्रवेश किया।

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विवाह और पारिवारिक जीवन

दुर्गा शक्ति नागपाल की मुलाकात पूर्व आईएएस अधिकारी अभिषेक सिंह से 2009 में यूपीएससी परीक्षा की तैयारी के दौरान हुई थी। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, दोनों ने 2012 में शादी की। अभिषेक सिंह के पिता रिटायर्ड आईपीएस अधिकारी हैं, और अभिषेक बचपन से ही पुलिस की वर्दी पहनने का सपना देखते थे। हालांकि, पिता की सलाह पर उन्होंने आईएएस की तैयारी शुरू की और सफलतापूर्वक इसे प्राप्त किया।

ऐसे की यूपी की महिलाओं की मदद

जहां एक तरफ पहले गोबर का इस्तेमाल उपले या खाद बनाने के लिए किया जाता था, तो वहीं आईएएस दुर्गा के इस कदम से उत्तर प्रदेश की महिलाएं गोबर से दीये बना रही हैं। इससे महिलाओं के लिए आमदनी का नया रास्ता खुला और आज वे अच्छी कमाई भी कर रही हैं।

यही नहीं, इस बार दिवाली के मौके पर इन दीयों को सेल कर महिलाओं की अच्छी कमाई भी हुई। आईएएस दुर्गा शक्ति ने इन महिलाओं को ईको फ्रेंडली दीये बनाने का आइडिया दिया, जो काम कर गया।

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Author: samachardarpan24

जिद है दुनिया जीतने की

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