भारत ने पहलगाम आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान के साथ सभी व्यापारिक संबंधों पर रोक लगा दी है। मसालों, कपड़ों और ड्राई फ्रूट के व्यापार पर असर; पाकिस्तान स्वाद और वस्त्र दोनों को तरस रहा है।
चुन्नीलाल प्रधान की रिपोर्ट
लखनऊ। पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत ने पाकिस्तान के प्रति अपना रुख सख्त कर लिया है। इसके परिणामस्वरूप भारत-पाकिस्तान के बीच का व्यापार पूरी तरह से बंद कर दिया गया है। विशेष रूप से मसालों और कपड़ों के निर्यात पर पूरी तरह रोक लगा दी गई है, जिससे पाकिस्तान अब स्वाद और वस्त्र दोनों के लिए तरस रहा है।
गौरतलब है कि भारत से ही पाकिस्तान को उच्च गुणवत्ता वाले मसालों की आपूर्ति होती थी, लेकिन अब सरकार द्वारा इस व्यापार को पूरी तरह से बंद कर दिया गया है। इसका सीधा असर पाकिस्तान की रसोई पर पड़ा है, जहां जायके की कमी साफ महसूस की जा रही है।
भारत में मसालों की कीमतों में गिरावट
वहीं भारत में मसालों की कीमतों में गिरावट देखी जा रही है। उदाहरण के तौर पर, जो इलायची पहले 3000 रुपए प्रति किलो बिक रही थी, अब वह 2400 रुपए किलो में उपलब्ध है। व्यापारिक विशेषज्ञों का मानना है कि पाकिस्तान को निर्यात बंद होने के कारण यह गिरावट हुई है।
कपड़ों की दुनिया भी प्रभावित
पाकिस्तान, विशेषकर उत्तर प्रदेश के लखनऊ से भेजे जाने वाले सूती और चिकन कपड़ों पर बहुत हद तक निर्भर था। लेकिन अब, कपड़ा व्यापारियों ने भी पाकिस्तान से व्यापार संबंध पूरी तरह समाप्त कर दिए हैं। वर्ष 2019 में ही लखनऊ से कपड़ा व्यापार बंद कर दिया गया था, क्योंकि वहां के व्यापारियों के लेन-देन पर विश्वास नहीं रहा।
ड्राई फ्रूट की कीमतों में संभावित वृद्धि
वहीं दूसरी ओर, भारत में ड्राई फ्रूट की कीमतें बढ़ने की संभावना है। अफगानिस्तान से आने वाले बादाम, मुनक्का, पिस्ता और छुआरे अब पाकिस्तान के रास्ते भारत नहीं आ सकेंगे, जिससे इनकी कीमतों में तेज़ी आई है।
- बादाम मामरा: 2400 से बढ़कर 2800 रुपये प्रति किलो
- छुआरा: 100 से बढ़कर 200 रुपये प्रति किलो
- अफगान पिस्ता: 1100 से बढ़कर 1200 रुपये प्रति किलो
सेंधानमक की आपूर्ति पर असर
भारत में सेंधानमक का आयात भी काफी हद तक पाकिस्तान पर निर्भर था, जो अब पूरी तरह बंद हो चुका है। इससे घरेलू बाजार में इसकी उपलब्धता पर असर पड़ सकता है।
भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ सिर्फ कूटनीतिक नहीं, बल्कि आर्थिक मोर्चे पर भी सख्ती दिखाई है। मसालों से लेकर कपड़ों और खाद्य उत्पादों तक, हर स्तर पर व्यापारिक नाकेबंदी से पाकिस्तान को भारी झटका लगा है।