सोनू करवरिया की रिपोर्ट
नरैनी(बांदा)। जनपद बांदा के कमासिन थाना क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले पछौहां गांव में हाल ही में एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है। कुछ दिन पूर्व यहां एक ब्राह्मण व्यक्ति के साथ कथित तौर पर कुछ विशेष समुदाय के लोगों द्वारा मारपीट और अपमानजनक व्यवहार किए जाने का मामला प्रकाश में आया है। इस घटना का वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो चुका है, जिसने क्षेत्र में सनसनी फैला दी है।
क्या है मामला?
पीड़ित रिंकू (गंगापारी ब्राह्मण) का आरोप है कि गांव के कुछ लोगों ने उसका रास्ता रोका, उसके जनेऊ को तोड़कर उसके धार्मिक संस्कारों का अपमान किया। इसके अलावा, उसके साथ मारपीट की गई, जातिसूचक शब्दों का प्रयोग करते हुए गालियां दी गईं और यहां तक कि उसे जान से मारने की धमकी भी दी गई। इस घटना ने न केवल पीड़ित को बल्कि पूरे सवर्ण समुदाय को झकझोर कर रख दिया है।
सवर्ण आर्मी टीम बांदा की त्वरित प्रतिक्रिया
घटना की जानकारी मिलते ही सवर्ण आर्मी टीम बांदा ने तत्परता दिखाते हुए पीड़ित रिंकू के साथ मिलकर कमासिन थाने का रुख किया।
सवर्ण आर्मी टीम के जिला उपाध्यक्ष रत्नेश द्विवेदी, पुष्पराज सिंह और संतोष त्रिपाठी सहित अन्य सदस्य इस मौके पर उपस्थित रहे। उन्होंने थाना अध्यक्ष से मिलकर मामले की पूरी जानकारी दी और दोषियों के खिलाफ सख्त संवैधानिक कार्रवाई की मांग की।
आंदोलन की चेतावनी
सवर्ण आर्मी टीम ने स्पष्ट रूप से चेतावनी दी है कि अगर पीड़ित रिंकू (गंगापारी ब्राह्मण) को जल्द न्याय नहीं मिला, तो वे एकजुट होकर आंदोलन करने के लिए मजबूर होंगे। टीम का कहना है कि सवर्ण समाज पर बढ़ते अत्याचारों को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा, और अगर जरूरत पड़ी तो बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन किया जाएगा।
सवाल उठता है, आखिर जिम्मेदार कौन?
इस घटना ने एक बार फिर यह सवाल खड़ा कर दिया है कि सवर्ण समाज, खासकर ब्राह्मण, कन्याओं और गौवंश पर हो रहे अत्याचारों का जिम्मेदार आखिर कौन है? प्रशासन की निष्क्रियता पर भी सवाल उठाए जा रहे हैं, क्योंकि ऐसे मामलों में त्वरित और निष्पक्ष जांच की उम्मीद की जाती है।
क्षेत्र में बढ़ता तनाव
इस घटना के बाद से पछौहां गांव और आसपास के क्षेत्रों में तनाव का माहौल है। स्थानीय लोग भी पुलिस और प्रशासन से दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग कर रहे हैं। फिलहाल, पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया है और जांच शुरू कर दी है, लेकिन क्या पीड़ित को न्याय मिलेगा या नहीं, यह समय ही बताएगा।
इस घटना ने एक बार फिर सामाजिक ताने-बाने को झकझोर कर रख दिया है, और यह देखना होगा कि प्रशासन इस मामले में कितनी सख्ती से कार्रवाई करता है।