उत्तर प्रदेश में 24 घंटे के भीतर 13 हत्याओं से सनसनी, लखनऊ में दिनदहाड़े युवक की गोली मारकर हत्या। आम आदमी पार्टी और स्वामी प्रसाद मौर्य ने योगी सरकार पर कानून व्यवस्था फेल होने का आरोप लगाया। जानिए विपक्ष की पूरी मांगें।
संजय कुमार वर्मा की रिपोर्ट
लखनऊ: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ सहित कई जिलों में बीते 24 घंटे के भीतर एक के बाद एक हत्या की वारदातों ने पूरे प्रदेश को हिला कर रख दिया है। रविवार शाम लखनऊ में दिनदहाड़े एक युवक को दौड़ाकर गोली मार दी गई, जिससे प्रदेश की कानून व्यवस्था एक बार फिर सवालों के घेरे में आ गई है।
विपक्ष ने योगी सरकार को घेरा
इन घटनाओं के बाद विपक्षी दलों ने योगी सरकार पर हमला तेज कर दिया है। आम आदमी पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता वंशराज दुबे ने दावा किया कि महज 24 घंटे में 14 हत्याएं प्रदेश में हुई हैं। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश अब नवाबी तहजीब की जगह गोलियों की गूंज के लिए जाना जाने लगा है।
उन्होंने तीखे आरोप लगाते हुए कहा, “कभी कचहरी, कभी कॉलोनी, दिनदहाड़े फायरिंग हो रही है। गुंडे स्कॉर्पियो में आते हैं और वारदात के बाद फरार हो जाते हैं। यह ‘गैंग्स ऑफ लखनऊ’ नहीं तो क्या है?”
स्वामी प्रसाद मौर्य का तीखा बयान
वहीं, पूर्व कैबिनेट मंत्री और अपनी जनता पार्टी के अध्यक्ष स्वामी प्रसाद मौर्य ने भी सरकार पर जोरदार हमला बोला। उन्होंने कहा कि 13 हत्याओं से स्पष्ट है कि अपराधी बेखौफ हैं और सरकार उनके सामने घुटने टेक चुकी है।
उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि, “मुख्यमंत्री योगी की बिरादरी के गुंडों को सत्ता के गलियारों में सम्मान दिया जा रहा है।” बाराबंकी में शैलेन्द्र मौर्य की बम से हत्या पर मौर्य ने गहरा दुख जताया और पीड़ित परिवार से मुलाकात की।
“ठोक दो” मॉडल अब आम जनता पर भारी: AAP
आप प्रवक्ता वंशराज दुबे ने कहा कि अपराधी प्रदेश में बेलगाम घूम रहे हैं जबकि मुख्यमंत्री अब भी दावा करते हैं कि “अपराधी या तो जेल में हैं या प्रदेश छोड़ चुके हैं।” उन्होंने कहा कि हकीकत इसके विपरीत है — कानून व्यवस्था पूरी तरह चरमराई हुई है।
आम आदमी पार्टी की मांगें
आम आदमी पार्टी ने योगी सरकार से निम्नलिखित चार प्रमुख मांगें की हैं:
1. प्रदेश में कानून व्यवस्था को लेकर तत्काल विशेष सत्र बुलाया जाए।
2. सभी जिलों में कानून व्यवस्था की त्वरित समीक्षा की जाए।
3. पीड़ित परिवारों को न्याय और आर्थिक सहायता दी जाए।
4. पुलिस बल में राजनीतिक हस्तक्षेप बंद कर स्वतंत्र व निष्पक्ष कार्रवाई सुनिश्चित की जाए।
प्रदेश में जिस तरह से आपराधिक घटनाएं बढ़ रही हैं, उससे आम जनता के मन में भय व्याप्त है। विपक्ष अब सरकार को सीधे तौर पर कटघरे में खड़ा कर रहा है। सवाल उठता है कि क्या योगी सरकार इन आरोपों का ठोस जवाब दे पाएगी या फिर अपराधियों के हौसले यूं ही बुलंद रहेंगे?