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November 22, 2024 11:24 pm

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सरयू और घाघरा के जलस्तर में वृद्धि से इलाके पर मंडराता बाढ़ का खतरा, जानिए क्या है मौसम का हाल

18 पाठकों ने अब तक पढा

चुन्नीलाल प्रधान की रिपोर्ट 

गोंडा । पड़ोसी देश नेपाल के पहाड़ी क्षेत्रों में लगातार बारिश होने से नदियों का जल स्तर बढ़ रहा है। ऐसे में सरयू और घाघरा के किनारे बसे गांव में बाढ़ का खतरा है। नदी के बढ़ते जलस्तर को देखते हुए ग्रामीण भी सतर्क हो गए हैं। सुरक्षित स्थानों पर जाने की तलाश में जुट गए हैं। घाघरा का जलस्तर प्रति घंटे सेंटीमीटर बढ़ रहा था। लेकिन पिछले 24 घंटों से स्थिर है।

तरबगंज और करनैलगंज तहसील में विशेष निगरानी की जा रही है। एडीएम सुरेश कुमार सोनी ने बताया कि नदियों के जलस्तर पर नजर रखी जा रही है। तहसीलों में बाढ़ से बचाव की तैयारी पूरी है।

सरयू नदी का पानी नवाबगंज क्षेत्र के गावों के किनारों तक पहुंच गया है। ढेमवा के साथ ही जैतपुर माझा गांव के रास्तों पर नदी का पानी आ गया है। वैसे तो बारिश न होने से नदियां स्थिर हैं मगर बाढ़ का संकट बढ़ता जा रहा है।

तरबगंज तहसील के प्रशासन को सतर्क किया गया है। वहीं, करनैलगंज इलाके में तटबंधों की निगरानी बढ़ा दी गई है। जिलाधिकारी नेहा शर्मा लगातार पूरी स्थिति पर नजर बनाए हुए हैं।

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सरयू नदी के तटवर्ती तुलसीपुर, माझा राठ, साकीपुर, दुर्गागंज, दत्तनगर समेत करीब एक दर्जन गांवों के किनारे बाढ़ का पानी पहुंच गया है। नदी का जलस्तर बढ़ने से संकट बढ़ सकता है।

माना जा रहा है कि बारिश भले ही जिले में बड़े पैमाने पर नहीं हुई है मगर आसपास के जिलों में बारिश व पहाड़ी नालों का पानी बैराजों पर पहुंच रहा है। बैराजों से पानी छोड़े जाने से भी बाढ़ की स्थिति गंभीर होने की आशंका है। वर्तमान में एक लाख 34 हजार 793 क्यूसेक पानी का डिस्चार्ज हो रहा है। आगे भी पानी छोड़े जाने के आसार हैं। इससे जलस्तर कभी भी बढ़ना शुरू होगा। इसे देखते हुए बाढ़ कार्य विभाग ने करनैलगंज के दोनों तटबंधों की निगरानी बढ़ा दी है। जिससे पानी बढ़ने से किसी तरह की दिक्कत न हो।

जिलाधिकारी कार्यालय में आपदा की स्थिति से निपटने के लिए कंट्रोल रूम की स्थापना की गई है। इसका फोन नंबर- 05262-230125 है। इस पर 24 घंटे बाढ़ से संबंधित सूचना दी जा सकती है। राहत और बचाव कार्य के लिए भी लोग इस नंबर पर मदद मांग सकते हैं। वहीं, बाढ़ राहत खाद्य सामग्री तथा पशु चारे हेतु भूसे का प्रबंध कर लिया गया है।

तरबगंज में 12, मनकापुर में एक, करनैलगंज में 11 तथा सदर तहसील में तीन सहित कुल 27 बाढ़ चौकियां तय की गईं हैं। तरबगंज में 20, मनकापुर में एक तथा करनैलगंज में 10 सहित कुल 31 बाढ़ शरणालय के लिए स्थल तय किए गए हैं।

राहत व बचाव कार्य के लिए 334 नावों की व्यवस्था की गई है। जिसमें तरबगंज में 304, मनकापुर में छह तथा करनैलगंज में 24 नावों की व्यवस्था की गई है।

राहत व बचाव कार्य में सहयोग के लिए जनपद में पीएसी की फ्लड यूनिट तैयार है। जरूरत पड़ने पर एसडीआएफ की मदद ली जाएगी। इसके अलावा स्वास्थ्य विभाग व पशुपालन विभाग से टीकाकरण का कार्य व पंचायत विभाग के द्वारा साफ-सफाई व दवा छिड़काव कराने की प्रक्रिया चल रही है। अपर जिलाधिकारी सुरेश कुमार सोनी ने कहा कि बाढ़ से निपटने के लिए प्रशासन पूरी तरह तैयार है।

बुलंदशहर में तेज बारिश में फैक्‍ट्री ढह गई

बुलंदशहर में तेज बारिश और हवाओं की चपेट में आने से फैक्ट्री जमींदोज। बवंडर से फैक्ट्री में हुए हादसे में दो युवक बताये जा रहे हैं घायल। लाखों रुपये का बताया जब रहा है नुकसान। सूचना पर पहुंची पुलिस जांच में जुटी। थाना खुर्जा देहात क्षेत्र के गांव अगौरा अमीरपुर में टेराकोटा फैक्ट्री का मामला।

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Author: samachar

"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."

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