सुशील कुमार मिश्रा की रिपोर्ट
आरटीओ प्रशासन के पद पर कार्यरत शंकरजी सिंह को आरटीओ पद पर पदोन्नति मिली है। वे न केवल एक अनुभवी प्रशासनिक अधिकारी हैं, बल्कि एक प्रतिष्ठित साहित्यकार भी हैं जिनकी 10 से अधिक पुस्तकें प्रकाशित हो चुकी हैं।
उत्तर प्रदेश के जनपद बांदा में एआरटीओ प्रशासन के पद पर कार्यरत वरिष्ठ अधिकारी शंकरजी सिंह को अब आरटीओ के पद पर पदोन्नति मिल गई है। इस प्रमोशन के साथ ही उनका वेतनमान 6600 ग्रेड पे से बढ़कर 7600 ग्रेड पे में हो जाएगा। यह उपलब्धि उनके लंबे, समर्पित और उत्कृष्ट सेवाकाल का परिणाम है।
15 वर्षों की सेवा और उल्लेखनीय योगदान
गौरतलब है कि शंकरजी सिंह 2008 बैच के उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग के सीधी भर्ती अधिकारी हैं। वर्ष 2016 में उन्हें एआरटीओ सीनियर के पद पर पदोन्नत किया गया था। लगभग 15 वर्षों की सतत और प्रभावशाली सेवा के उपरांत, इस बार उन्हें और उनके साथ छह अन्य अधिकारियों को आरटीओ पद पर पदोन्नति प्रदान की गई है।
साहित्यिक क्षेत्र में भी नाम रोशन
केवल प्रशासनिक कार्यों में ही नहीं, बल्कि शंकरजी सिंह हिंदी साहित्य के क्षेत्र में भी एक प्रतिष्ठित नाम हैं। उनकी अब तक करीब 10 पुस्तकें प्रकाशित हो चुकी हैं। वे हिंदी सेवा लखनऊ सहित देश के अनेक राज्यों और विदेशों से भी पुरस्कृत हो चुके हैं। यह बात उन्हें एक बहुआयामी व्यक्तित्व के रूप में स्थापित करती है।
ट्रैफिक पार्क की अनूठी पहल
परिवहन विभाग में कार्य करते हुए उन्होंने सड़क सुरक्षा के क्षेत्र में भी उल्लेखनीय कार्य किए हैं। विशेष रूप से, जनपद कौशांबी में प्रदेश का पहला ट्रैफिक पार्क स्थापित करवाना उनका एक महत्वपूर्ण योगदान रहा है। इस पहल की तत्कालीन परिवहन मंत्री ने भी प्रशंसा की थी। इसके अतिरिक्त, उन्हें विभाग द्वारा सड़क सुरक्षा में उत्कृष्ट कार्यों के लिए सम्मानित किया जा चुका है।