इरफान अली लारी की रिपोर्ट
सलेमपुर (देवरिया): नगर के प्रमुख शैक्षणिक संस्थान, जी एम एकेडमी सीनियर सेकेंडरी स्कूल, में संस्थापक स्व. गौरीशंकर द्विवेदी की जयंती श्रद्धा और आदर के साथ मनाई गई। इस अवसर पर विद्यालय में एक समारोह आयोजित किया गया, जिसमें स्व. द्विवेदी की प्रतिमा पर माल्यार्पण और दीप प्रज्ज्वलन करते हुए पुष्पांजलि अर्पित की गई। इस कार्यक्रम में विद्यालय के सभी शिक्षक-शिक्षिकाओं और कुछ छात्रों ने भी श्रद्धांजलि अर्पित की।
विद्यालय की निदेशिका, डॉ. संभावना मिश्रा ने स्व. गौरीशंकर द्विवेदी के योगदानों को स्मरण करते हुए कहा कि वे एक महान शिक्षाविद् थे, जिन्होंने पूर्वांचल में आधुनिक शिक्षा की नींव रखी। अनुशासन और परीक्षा में नकल के कट्टर विरोधी रहे स्व. द्विवेदी ने शिक्षा क्षेत्र में नए कीर्तिमान स्थापित किए।
सलेमपुर में जी एम एकेडमी की स्थापना से लेकर गोरखपुर और बरहज तक शिक्षा की अलख जगाकर उन्होंने पूरे क्षेत्र को शिक्षा की सुगंध से सराबोर किया। डॉ. मिश्रा ने उनकी जयंती पर श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा, “आपकी कृपा दृष्टि हम सब पर बनी रहे और आपका आशीर्वाद हमें नई ऊंचाइयों तक पहुंचाता रहे।”
चेयरमैन, डॉ. श्री प्रकाश मिश्र ने स्व. द्विवेदी की याद में कहा, “वे केवल एक व्यक्ति नहीं थे, बल्कि एक महान शिक्षाविद्, कुशल मार्गदर्शक, और अनुशासनप्रिय प्रधानाचार्य थे। उनका कर्तव्यनिष्ठा और आत्मानुशासन का उदाहरण आज भी हमें प्रेरित करता है। उनके आशीर्वाद से हमें हमेशा नई ऊर्जा और दिशा मिलती रहे।”
प्रधानाचार्य, मोहन द्विवेदी ने इस अवसर पर अपनी काव्य रचना प्रस्तुत करते हुए कहा:
“जब जब समुचित शिक्षा का नाम आएगा,
सहज रूप में गौरीशंकर जी का नाम आएगा।
नकल विरोध और अनुशासन का नाम आएगा,
दृढ़ इच्छाशक्ति गौरीशंकर जी का याद आएगा।”
इस तरह के विचारों और भावनाओं के साथ स्व. गौरीशंकर द्विवेदी की स्मृति को सभी ने संजोया और उनके योगदान को नमन किया।
1 thought on “शिक्षा के पुरोधा स्व. गौरीशंकर द्विवेदी की जयंती पर जी एम एकेडमी में श्रद्धांजलि सभा आयोजित”
महान शिक्षाविद्, सलेमपुर देवरिया में आधुनिक शिक्षा की अलख जगाने वाले, अनुशासन प्रिय, नकल विरोधी, बहुत अच्छे मार्गदर्शक, कुशल प्रशासक, चकरवां के पूर्व प्रधानाचार्य, जी.एम.एकेडमी के संस्थापक, पूर्वांचल की इस महान दिव्य आत्मा, इस महान विभूति को शत् शत् नमन, बारंबार नमन। आपका आशीर्वाद सदैव बना रहे।