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5 March 2025 11:43 pm

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अवैध हथियार फैक्टरी का भंडाफोड़, मुठभेड़ के बाद दो बदमाश गिरफ्तार, सरगना फरार

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ब्रजकिशोर सिंह की रिपोर्ट

मथुरा के छाता क्षेत्र में एसओजी और पुलिस ने बड़ी कार्रवाई करते हुए अवैध हथियार बनाने वाली फैक्टरी का पर्दाफाश किया। इस दौरान हुई मुठभेड़ में दो बदमाश गोली लगने से घायल हो गए, जबकि मुख्य सरगना फरार होने में सफल रहा।

पुलिस ने बरामद किए हथियार और उपकरण

डीआईजी शैलेश कुमार पांडेय के अनुसार, छाता कोतवाली क्षेत्र के गांव दद्दीगढ़ी के पास एक निर्माणाधीन मकान में अवैध शस्त्र फैक्टरी संचालित की जा रही थी। जब कोतवाली प्रभारी निरीक्षक विनोद कुमार मिश्रा और एसओजी प्रभारी राकेश कुमार यादव अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे, तो बदमाशों ने फायरिंग शुरू कर दी। जवाबी कार्रवाई में दो बदमाश घायल हो गए, जबकि तीसरा फरार हो गया।

पुलिस ने मौके से एक रिवाॅल्वर, एक राइफल, 5 तमंचे, 7 जिंदा और 4 खोखा कारतूस समेत हथियार बनाने के उपकरण बरामद किए।

बदमाशों की पहचान और गिरफ्तारी

घायल बदमाशों को अस्पताल ले जाकर पूछताछ की गई, जहां उन्होंने अपनी पहचान महावन के नगला लोका निवासी रोहित और औरंगाबाद की दीपपुरम कॉलोनी निवासी हेमंत के रूप में बताई। वहीं, फरार आरोपी का नाम हाकिम सिंह निकला, जो नगला लोका का रहने वाला है। इलाज के बाद दोनों आरोपियों को कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उन्हें जेल भेज दिया गया।

हथियार सप्लाई नेटवर्क की जांच जारी

पुलिस पूछताछ में आरोपियों ने कई सप्लायरों के नाम बताए हैं। अब एक विशेष टीम उनकी गिरफ्तारी के लिए जुटी हुई है। साथ ही, यह भी पता लगाया जा रहा है कि अब तक कहां-कहां हथियारों की बिक्री की गई है।

बेटे को छोड़कर भागा पिता

गिरफ्तार आरोपियों में रोहित और फरार हाकिम सिंह पिता-पुत्र हैं। जब मुठभेड़ के दौरान रोहित गोली लगने से घायल हुआ, तो उसके पिता हाकिम सिंह उसे छोड़कर भाग निकला। पुलिस ने उसकी तलाश में छापेमारी की, लेकिन वह हाथ नहीं आया।

पिता से सीखी हथियार बनाने की तकनीक

कोतवाली प्रभारी विनोद बाबू मिश्रा ने बताया कि हाकिम सिंह पिछले 10 वर्षों से अवैध हथियार बनाने का धंधा कर रहा था। उसने अपने बेटे रोहित को भी इस काम में लगा दिया। रोहित ने अपने पिता से ही हथियार बनाना सीखा और बाद में दोनों मिलकर बड़े स्तर पर हथियार बनाने लगे।

इतना ही नहीं, रोहित और हेमंत पिछले डेढ़ साल से इस गोरखधंधे में सक्रिय थे। वे इतने शातिर थे कि पुलिस से बचने के लिए अक्सर अपना ठिकाना बदलते रहते थे। इससे पुलिस को उनकी गतिविधियों की भनक नहीं लग पाती थी।

पुलिस की इस कार्रवाई से मथुरा में अवैध हथियारों के निर्माण और सप्लाई नेटवर्क पर करारा प्रहार हुआ है। हालांकि, मुख्य आरोपी हाकिम सिंह अब भी फरार है, जिसे पकड़ने के लिए पुलिस की टीमें सक्रिय रूप से काम कर रही हैं। पुलिस अब यह भी पता लगा रही है कि इन हथियारों की सप्लाई किन-किन अपराधियों को की गई थी।

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