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21 February 2025 3:36 pm

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जिन्होंने रात में चुन-चुन के बस्तियों को लूटा, वही नसीबों के मारों की बात करते हैं..!! बजट सत्र के दौरान मुख्यमंत्री योगी ने क्यों और किसे ऐसा कहा? 

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अंजनी कुमार त्रिपाठी की रिपोर्ट

लखनऊ । उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बजट सत्र के दौरान सदन में समाजवादी पार्टी समेत विपक्षी दलों पर तीखा हमला बोला। महाकुंभ को लेकर समाजवादी नेताओं के दिए बयानों पर पलटवार करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि कुछ लोग जिस थाली में खाते हैं, उसी में छेद करने का काम करते हैं। उन्होंने विपक्षी दलों पर सनातन धर्म और आस्था के खिलाफ षड्यंत्र रचने का आरोप लगाते हुए कहा कि यह आयोजन किसी पार्टी विशेष का नहीं, बल्कि पूरे समाज का है, जिसे सरकार मात्र सहयोगी और सेवक के रूप में समर्थन दे रही है।

शेर के माध्यम से विपक्ष को आईना दिखाया

मुख्यमंत्री ने समाजवादी पार्टी पर कटाक्ष करते हुए एक शेर पढ़ा:

बड़ा हसीन है इनकी जुबान का जादू,

लगाकर के आग बहारों की बात करते हैं।

जिन्होंने रात में चुन-चुन के बस्तियों को लूटा,

वही नसीबों के मारों की बात करते हैं।”

इस शेर के माध्यम से उन्होंने स्पष्ट किया कि जो लोग खुद प्रदेश को अस्थिर करने में लगे हैं, वे ही जनता की भलाई की बातें कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि जब वे महाकुंभ पर बोल रहे हैं, तब तक 56.25 करोड़ श्रद्धालु संगम में आस्था की डुबकी लगा चुके हैं। ऐसे में, विपक्ष द्वारा महाकुंभ और सनातन परंपराओं को लेकर किए जा रहे दुष्प्रचार को जनता नकार चुकी है।

महाकुंभ पर राजनीति करना कितना उचित?

मुख्यमंत्री ने सदन में विपक्षी नेताओं को घेरते हुए कहा कि कुछ लोग महाकुंभ जैसे भव्य और ऐतिहासिक आयोजन को भी बदनाम करने का प्रयास कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि जब कोई सनातन धर्म, मां गंगा और भारत की आस्था पर झूठे आरोप लगाता है, तो यह केवल सरकार पर नहीं, बल्कि 56 करोड़ श्रद्धालुओं और पूरे भारत की सनातन आस्था पर हमला होता है।

उन्होंने कहा कि सरकार इस आयोजन की सिर्फ सहयोगी है, क्योंकि यह समाज का आयोजन है। सरकार अपने उत्तरदायित्वों को सेवक के रूप में निभा रही है और पूरी तत्परता के साथ काम कर रही है।

भगदड़ और सड़क दुर्घटनाओं पर संवेदना व्यक्त की

विपक्षी नेताओं संग्राम सिंह यादव, आरके पटेल और आराधना मिश्रा ‘मोना’ के बयानों पर जवाब देते हुए मुख्यमंत्री ने 29 जनवरी को हुई भगदड़ और अन्य दुर्घटनाओं पर गहरा दुख व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि प्रयागराज कुंभ के दौरान सोनभद्र, अलीगढ़ और अन्य स्थानों पर महास्नान में आए श्रद्धालुओं के साथ हुई दुर्घटनाओं को लेकर सरकार गंभीर है और पीड़ित परिवारों को हर संभव सहायता दी जाएगी। लेकिन, इस पर राजनीति करना कितना उचित है?

महाकुंभ से जोड़कर फैलाया जा रहा दुष्प्रचार

मुख्यमंत्री ने सदन में सदस्य मनोज पांडेय को धन्यवाद देते हुए कहा कि उन्होंने अफवाहों के मुद्दे को उठाया। मुख्यमंत्री ने बताया कि काहिरा, नेपाल, झारखंड और देश के अन्य हिस्सों में हुई दुर्घटनाओं को महाकुंभ और झूंसी से जोड़कर गलत तरीके से पेश किया गया। यह दुष्प्रचार आखिर कौन कर रहा है? ऐसे लोगों की मंशा क्या है?

हिंदी और क्षेत्रीय भाषाओं को लेकर भी किया कटाक्ष

मुख्यमंत्री ने नेता प्रतिपक्ष पर हमला बोलते हुए कहा कि जब सदन में स्थानीय भाषाओं को महत्व मिला, तो समाजवादी पार्टी ने इसका भी विरोध किया। उन्होंने कहा कि हिंदी सदन की भाषा है और इसके साथ क्षेत्रीय भाषाओं को भी मान्यता दी गई है। भोजपुरी, ब्रज, अवधी और बुंदेली की लिपि देवनागरी है, इसलिए इन्हें भी महत्व दिया गया है।

उन्होंने समाजवादी पार्टी पर कटाक्ष करते हुए कहा कि कुछ लोगों का स्वभाव ही हर अच्छे कार्य का विरोध करना है। समाजवादी पार्टी का संस्कार ही नकारात्मक राजनीति करना है। मुख्यमंत्री ने कहा, “आज के समाजवादियों के बारे में मान्यता है कि जिस थाली में खाते हैं, उसी में छेद करते हैं।”

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने महाकुंभ को लेकर उठाए गए विपक्ष के सवालों का कड़ा जवाब दिया। उन्होंने इसे समाज का आयोजन बताते हुए कहा कि सरकार केवल एक सहयोगी की भूमिका में है। विपक्ष द्वारा फैलाए जा रहे दुष्प्रचार पर उन्होंने चिंता जताई और समाजवादी पार्टी को आड़े हाथों लेते हुए उनके रवैये पर तंज कसा। उन्होंने स्पष्ट किया कि सरकार अपनी जिम्मेदारियों को पूरी निष्ठा के साथ निभा रही है और सनातन परंपराओं को सम्मान देने के लिए संकल्पित है।

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