कमलेश कुमार चौधरी की रिपोर्ट
उन्नाव: उन्नाव के ऊगू चौकी पर एक अजीबोगरीब घटना हुई, जहां बैंक मित्र छेदनू प्रसाद से लूट का आरोपी लकी पुलिस की नजरों से बचकर भाग निकला। इस घटना ने पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े कर दिए हैं, खासकर जब यह पता चला कि आरोपी ने हाथों में हथकड़ी लगाई होने के बावजूद भागने में सफल रहा।
मामला क्या है?
नौ सितंबर को, बैंक मित्र छेदनू प्रसाद के साथ फतेहपुर चौरासी क्षेत्र में लगभग 3.30 लाख रुपये की लूट की घटना हुई थी। पुलिस ने इस मामले में एक लुटेरे, अश्विनी, को 19 सितंबर को मुठभेड़ के दौरान गिरफ्तार किया था। इसके अलावा, दो अन्य संदिग्ध मुस्ताक और लकी के नाम सामने आए थे। मुस्ताक को कुछ ही दिनों में गिरफ्तार कर लिया गया, लेकिन लकी फरार हो गया था।
पुलिस कार्रवाई
चौकी प्रभारी अजय शर्मा ने लकी को पकड़ा और उसे सीधे चौकी ऊगू ले आए। उन्होंने यह सुनिश्चित किया कि लकी को थाने में दाखिल नहीं किया गया, बल्कि उसे चौकी पर ही रखा गया। इस बीच, चौकी पर तैनात सिपाही क्रिकेट मैच खेलने में व्यस्त हो गए। इसी दौरान, आरोपी ने मौके का फायदा उठाकर भागने की योजना बनाई।
जब सिपाहियों को लकी के भागने का पता चला, तब तक वह काफी दूर निकल चुका था। इस घटना के बाद चौकी प्रभारी और अन्य पुलिसकर्मियों ने मिलकर उसकी तलाश शुरू कर दी। पुलिस टीमें हरदोई और अन्य स्थानों पर लकी की खोज में रवाना हुईं, लेकिन बिना मोबाइल के लुटेरे को पकड़ना पुलिस के लिए एक बड़ी चुनौती बन गया है।
पुलिस की प्रतिक्रिया
इस घटना के बाद, सीओ माया राय ने लुटेरे के भागने की घटना को संज्ञान में नहीं लेने की बात कही। पुलिस अब यह सुनिश्चित कर रही है कि लकी को जल्द से जल्द पकड़ा जाए और उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए।
इस घटना ने न केवल पुलिस की सतर्कता पर सवाल खड़े किए हैं, बल्कि यह भी दर्शाता है कि कैसे लुटेरे पुलिस की लापरवाही का लाभ उठाने में सफल रहे। अब पुलिस के लिए यह आवश्यक है कि वह अपनी रणनीतियों में सुधार करे ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।
Author: samachar
"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."