कमलेश कुमार चौधरी की रिपोर्ट
लखनऊ। 2024 लोकसभा चुनाव के बाद उत्तर प्रदेश के राजनीतिक गलियारों में हलचल तेज हो गई है। सभी प्रमुख राजनीतिक दल 2027 में होने वाले विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुट गए हैं। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने संगठन को मजबूत करने के लिए संगठनात्मक चुनाव प्रक्रिया शुरू कर दी है। इसी बीच, भाजपा की सहयोगी पार्टी अपना दल (सोनेलाल) और उसके नेता व कैबिनेट मंत्री आशीष पटेल पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोपों ने सियासी माहौल गरमा दिया है।
भ्रष्टाचार के आरोप और राजनीतिक विवाद
समाजवादी पार्टी (सपा) की विधायक और अपना दल कमेरवादी की नेता पल्लवी पटेल ने आशीष पटेल के विभाग में हुए प्रमोशनों को लेकर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए हैं। पल्लवी पटेल का कहना है कि प्रमोशन प्रक्रिया में पारदर्शिता का अभाव था और अनियमितताएं की गईं। इन आरोपों के बाद मंत्री आशीष पटेल को लगातार सफाई देनी पड़ रही है। मंगलवार को उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट कर अपना पक्ष रखा और सूचना विभाग व एसटीएफ पर भी सवाल उठाए।
आशीष पटेल के इस बयान से उत्तर प्रदेश की राजनीति और गरमा गई है। चर्चा है कि भाजपा और अपना दल सोनेलाल के गठबंधन में सबकुछ ठीक नहीं चल रहा। हालांकि, अपना दल सोनेलाल के प्रदेश अध्यक्ष राज कुमार पाल ने इन सभी अटकलों को खारिज करते हुए कहा कि मंत्री आशीष पटेल पूरी तरह ईमानदार और बेदाग हैं।
प्रमोशन प्रक्रिया पर सफाई
राज कुमार पाल ने कहा कि विभाग में 177 लोगों का प्रमोशन पूरी तरह विधिसंगत और पारदर्शी तरीके से किया गया है। इस प्रक्रिया को एक ईमानदार आईएएस अधिकारी की अध्यक्षता वाली टीम ने अंजाम दिया। उन्होंने कहा, “आरोप केवल राजनीतिक दुर्भावना से लगाए जा रहे हैं। हमारे मंत्री आशीष पटेल ने पूरी निष्पक्षता और पारदर्शिता के साथ काम किया है।”
योगी सरकार पर भरोसा
राज कुमार पाल ने यह भी कहा कि योगी आदित्यनाथ की सरकार पूरी ईमानदारी और निष्पक्षता से काम कर रही है और उनके सभी मंत्री उसी दिशा में कार्यरत हैं। उन्होंने आरोपों को सिरे से खारिज करते हुए कहा, “अगर सरकार हमारे साथ नहीं होती, तो इन आरोपों का खंडन कर देती।” उन्होंने यह भी कहा कि यदि किसी को प्रमोशन प्रक्रिया पर संदेह है, तो इसकी सीबीआई जांच कराई जा सकती है।
गठबंधन में नाराजगी की चर्चा को किया खारिज
गठबंधन में नाराजगी की खबरों पर प्रतिक्रिया देते हुए राज कुमार पाल ने कहा, “हमारी पार्टी अभी विकास के चरण में है और हमें सरकार में काम करने का मौका मिला है। भाजपा और सरकार पूरी तरह से हमारे साथ हैं। ना तो हमारी पार्टी और ना ही हमारे मंत्री ऐसा कोई कार्य करेंगे जिससे सरकार की छवि धूमिल हो।”
राजनीतिक माहौल और आगे की राह
इन विवादों के बीच, यह साफ है कि आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर उत्तर प्रदेश में राजनीतिक सरगर्मियां बढ़ती रहेंगी। हालांकि, भाजपा और अपना दल सोनेलाल के बीच के संबंधों पर उठते सवाल, गठबंधन की स्थिरता को लेकर चिंताएं पैदा कर सकते हैं। वहीं, विपक्ष इस मुद्दे को भुनाने की कोशिश में है, जिससे सत्तारूढ़ गठबंधन पर दबाव बढ़ता दिख रहा है।
आने वाले दिनों में इस मामले पर सरकार और विपक्ष के बीच खींचतान और तेज होने की संभावना है।
Author: samachar
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