अंजनी कुमार त्रिपाठी की रिपोर्ट
उत्तर प्रदेश की सियासत में एक बार फिर से बड़ा मोड़ देखने को मिल रहा है। कौशांबी जिले की चायल विधानसभा सीट से समाजवादी पार्टी (सपा) की विधायक पूजा पाल ने अब भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के समर्थन में खुलकर अपना पक्ष रखा है।
वर्तमान में उत्तर प्रदेश की 9 विधानसभा सीटों पर हो रहे उपचुनावों में, फूलपुर सीट पर बीजेपी प्रत्याशी दीपक पटेल के लिए जनसंपर्क करते हुए पूजा पाल ने वोट मांगे हैं।
राज्यसभा चुनाव में क्रॉस वोटिंग से चर्चा में आईं पूजा पाल
पूजा पाल पहली बार सुर्खियों में तब आई थीं, जब उन्होंने राज्यसभा चुनाव के दौरान पार्टी लाइन से हटकर क्रॉस वोटिंग करते हुए बीजेपी का समर्थन किया था। इसके बाद, वे कई बार मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य से मुलाकात करती नजर आईं। उनकी बीजेपी से बढ़ती नजदीकियों को लेकर राजनीतिक गलियारों में चर्चाएं तेज हो गई थीं। हालांकि, अब फूलपुर उपचुनाव के दौरान वे खुलकर बीजेपी के साथ खड़ी हैं और बीजेपी उम्मीदवार दीपक पटेल के समर्थन में प्रचार कर रही हैं।
योगी सरकार से मिला न्याय, बीजेपी के प्रति बढ़ा विश्वास
पूजा पाल का कहना है कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उन्हें न्याय दिलाया, जिसके कारण अब वे बीजेपी उम्मीदवार के पक्ष में चुनाव प्रचार कर रही हैं। उनका यह बयान उनकी राजनीतिक प्राथमिकताओं में आए बदलाव को स्पष्ट करता है।
राजू पाल हत्याकांड: न्याय की लंबी लड़ाई
पूजा पाल का राजनीतिक सफर हमेशा से संघर्षपूर्ण रहा है। 25 जनवरी 2005 को, प्रयागराज (तत्कालीन इलाहाबाद) की शहर पश्चिमी विधानसभा सीट से बसपा के विधायक रहे राजू पाल की दिनदहाड़े हत्या कर दी गई थी। राजू पाल, पूजा पाल के पति थे। उनकी हत्या का आरोप कुख्यात माफिया डॉन और समाजवादी पार्टी के पूर्व सांसद अतीक अहमद और उनके भाई अशरफ पर लगाया गया था।
राजू पाल की हत्या के बाद पूजा पाल ने न्याय के लिए लंबी कानूनी लड़ाई लड़ी। इस दौरान उन्हें कई तरह की चुनौतियों का सामना करना पड़ा। आखिरकार, जब योगी आदित्यनाथ की सरकार ने इस मामले में कड़ा रुख अपनाया और राजू पाल हत्याकांड के आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की, तो पूजा पाल को न्याय मिलने की उम्मीदें जगीं। अतीक अहमद और अशरफ की हालिया हत्या के बाद मामले के कई आरोपियों को सजा भी सुनाई जा चुकी है।
समाजवादी पार्टी से दूरियां और बीजेपी से नजदीकियां
राजू पाल हत्याकांड में योगी सरकार की मदद से पूजा पाल को न्याय मिलने के बाद उनका झुकाव बीजेपी की ओर बढ़ गया। उन्होंने राज्यसभा चुनाव में सपा के आदेशों की अवहेलना करते हुए बीजेपी के पक्ष में क्रॉस वोटिंग की थी। इसके बाद से ही यह कयास लगाए जा रहे थे कि पूजा पाल जल्द ही बीजेपी में शामिल हो सकती हैं।
अब, फूलपुर उपचुनाव में बीजेपी के समर्थन में खुलकर प्रचार करते हुए उन्होंने इन अटकलों को और भी मजबूती दे दी है। उनकी यह सक्रियता सपा के लिए बड़ा झटका साबित हो सकती है, खासकर ऐसे समय में जब पार्टी आगामी चुनावों में अपनी पकड़ मजबूत करने की कोशिश कर रही है।
क्या पूजा पाल बीजेपी में शामिल होंगी?
पूजा पाल के बीजेपी के समर्थन में इस खुली घोषणा के बाद, यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या वे भविष्य में औपचारिक रूप से बीजेपी का दामन थामेंगी। उनके इस कदम से उत्तर प्रदेश की राजनीति में एक नया समीकरण बनता नजर आ रहा है।
इस राजनीतिक घटनाक्रम ने यह साबित कर दिया है कि उत्तर प्रदेश की राजनीति में समीकरण पल-पल बदल सकते हैं। जहां एक तरफ सपा को अपने ही विधायकों की बगावत का सामना करना पड़ रहा है, वहीं बीजेपी अपने विरोधियों के गढ़ में सेंध लगाने की कोशिशों में सफल होती नजर आ रही है। ऐसे में आने वाले दिनों में उत्तर प्रदेश की राजनीति और भी दिलचस्प हो सकती हैह