ठाकुर बख्श सिंह की रिपोर्ट
उत्तर प्रदेश, जो देश की सबसे बड़ी आबादी वाला राज्य है और आर्थिक दृष्टि से भी महत्वपूर्ण स्थान रखता है, यहां कई बड़े कारोबारी हैं। लेकिन 22 करोड़ की विशाल जनसंख्या वाले इस राज्य में कानपुर के मुरलीधर ज्ञानचंदानी का नाम सबसे अमीर लोगों की सूची में सबसे ऊपर आता है। हुरुन रिच लिस्ट के मुताबिक, मुरलीधर ज्ञानचंदानी यूपी के सबसे धनी व्यक्ति हैं। खास बात यह है कि वे किसी सॉफ्टवेयर या वित्तीय कंपनी के मालिक नहीं हैं, बल्कि उन्होंने सर्फ-साबुन के व्यापार से अपना भाग्य बनाया है। उनके उत्पाद आज देशभर के घरों में उपयोग होते हैं और वे अपने क्षेत्र में भारत का दूसरा सबसे बड़ा ब्रांड बन चुके हैं।
मुरलीधर ज्ञानचंदानी के इस सफल उत्पाद का नाम ‘घड़ी डिटर्जेंट’ है, जिसे आपने अक्सर टीवी पर विज्ञापनों में देखा होगा। इसी घड़ी डिटर्जेंट के जरिए मुरलीधर ने न केवल कानपुर बल्कि पूरे देश में अपनी एक अलग पहचान बनाई है। वे रोहित सरफैक्टेंट्स प्राइवेट लिमिटेड (RSPL) समूह के मालिक हैं। अब आइए जानते हैं कि मुरलीधर ज्ञानचंदानी ने किस प्रकार सर्फ-साबुन के कारोबार से इस ऊंचाई तक का सफर तय किया।
पारिवारिक विरासत से शुरू हुआ सफर
मुरलीधर ज्ञानचंदानी को साबुन का व्यापार विरासत में अपने पिता दयालदास ज्ञानचंदानी से मिला था। उनके पिता ने ग्लिसरीन का इस्तेमाल कर साबुन बनाने का काम शुरू किया था। मुरलीधर ने अपने पिता के इस व्यवसाय को आगे बढ़ाया और 22 जून 1988 को RSPL की स्थापना की। इससे पहले उनकी कंपनी का नाम श्री महादेव सोप इंडस्ट्रीज प्राइवेट लिमिटेड था। इस कंपनी के तहत मुरलीधर ने कई उत्पाद बनाए, लेकिन उनका एक उत्पाद पूरे देश के घर-घर तक पहुंचा। यह उत्पाद था घड़ी डिटर्जेंट पाउडर, जिसने न केवल उन्हें पहचान दिलाई बल्कि अपार संपत्ति भी प्रदान की।
घड़ी डिटर्जेंट की सफलता
घड़ी डिटर्जेंट की सफलता ने मुरलीधर ज्ञानचंदानी की दौलत में काफी इजाफा किया। इस डिटर्जेंट ने उन्हें उत्तर प्रदेश का सबसे अमीर व्यक्ति बना दिया। हुरुन रिच लिस्ट के अनुसार, मुरलीधर ज्ञानचंदानी की कुल संपत्ति लगभग 12,000 करोड़ रुपये है। इसके साथ ही, वे देश के 149वें सबसे अमीर उद्योगपति भी हैं।
मुरलीधर ज्ञानचंदानी की इस सफलता की कहानी प्रेरणादायक है, क्योंकि उन्होंने पारंपरिक सर्फ और साबुन के उद्योग में कदम रखकर न केवल एक बड़ा मुकाम हासिल किया, बल्कि उत्तर प्रदेश के सबसे धनी व्यक्तियों में अपना नाम दर्ज करवाया।
Author: samachar
"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."