सर्वेश द्विवेदी की रिपोर्ट
बिहार के जमुई जिले में एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जहाँ सिकंदरा पुलिस ने एक फर्जी आईपीएस अधिकारी को गिरफ्तार किया है। यह व्यक्ति, मिथलेश कुमार, लखीसराय जिले के गोवर्धन बीघा गांव का निवासी है, जिसने दो लाख रुपये देकर आईपीएस अधिकारी की वर्दी और पहचान हासिल की थी।
घटना तब घटी जब मिथलेश कुमार सिकंदरा चौक पर रुका था। वह आईपीएस की वर्दी पहने हुए था और अपनी कमर में पिस्टल लटकाए हुए एक महंगी बाइक पर बैठा था।
उसके इस हुलिए ने स्थानीय लोगों का ध्यान आकर्षित किया। कुछ लोगों को उसका व्यवहार संदिग्ध लगा और उन्होंने तुरंत सिकंदरा थानाध्यक्ष मिंटू कुमार सिंह को सूचना दी। सूचना मिलने पर पुलिस तुरंत मौके पर पहुंची और मिथलेश को गिरफ्तार कर लिया।
पुलिस द्वारा की गई पूछताछ में मिथलेश ने खुलासा किया कि खैरा इलाके के मनोज सिंह नामक व्यक्ति ने उसे पुलिस में नौकरी दिलाने का झांसा दिया था। इसके बदले मनोज सिंह ने मिथलेश से 2 लाख 30 हजार रुपये की मांग की।
मिथलेश ने अपने मामा से दो लाख रुपये लेकर मनोज सिंह को दिए, जिसके बाद मनोज ने उसका नाप लिया और अगले दिन उसे आईपीएस की वर्दी, बैच और नकली पिस्टल सौंप दी।
मिथलेश जब वर्दी पहनकर अपने घर गया तो उसकी मां ने उसे आशीर्वाद दिया। इसके बाद वह मनोज सिंह से बाकी के 30 हजार रुपये लेकर मिलने जा रहा था। सिकंदरा चौक पर कुछ देर रुकने के दौरान ही पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया।
जमुई के एसडीपीओ सतीश सुमन ने बताया कि मिथलेश को फर्जी आईपीएस अधिकारी के रूप में गिरफ्तार किया गया है और पुलिस इस पूरे गिरोह की जांच में जुटी है, जो युवाओं को ठगी का शिकार बनाकर उन्हें फर्जी अधिकारियों की पहचान दिलाता है। अगर यह गिरोह सक्रिय है, तो पुलिस के लिए इसे बेनकाब करना एक बड़ी चुनौती होगी।
Author: samachar
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