सर्वेश द्विवेदी की रिपोर्ट
देवरिया जिला वर्तमान में एक अनोखे संयोग का गवाह बन रहा है, जहां के आला अधिकारी और सांसद सभी भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) के पूर्व छात्र हैं।
जिले के डीएम, एसपी, और सीडीओ तीनों आईआईटी से पढ़ाई कर चुके हैं, जबकि देवरिया के सांसद शशांक मणि त्रिपाठी भी आईआईटी के ही उत्पाद हैं। माना जा रहा है कि इन आईआईटीयंस अधिकारियों की टीम जिले के विकास को एक नया आयाम दे सकती है।
देवरिया के शीर्ष आईआईटीयंस
डीएम दिव्या मित्तल
दिव्या मित्तल देवरिया की वर्तमान जिलाधिकारी (डीएम) हैं और उन्होंने आईआईटी दिल्ली से बीटेक किया है। इसके बाद उन्होंने आईआईएम बैंगलोर से एमबीए किया।
सिविल सेवा में आने से पहले, दिव्या ने जेपी मॉर्गन जैसी प्रतिष्ठित बहुराष्ट्रीय कंपनी में लंदन में काम किया। उनकी गिनती तेज-तर्रार और ईमानदार आईएएस अधिकारियों में होती है। इससे पहले, वह संतकबीर नगर और मिर्जापुर की डीएम रह चुकी हैं और वहां अपने कार्यों से विशेष पहचान बनाई थी।
एसपी संकल्प शर्मा
संकल्प शर्मा देवरिया के पुलिस अधीक्षक (एसपी) हैं और उन्होंने आईआईटी रुड़की से एमटेक किया है। पुलिस सेवा में आने से पहले वह आईटी सेक्टर में थे।
संकल्प की गिनती तेज-तर्रार और ईमानदार पुलिस अधिकारियों में होती है, और उन्हें पुलिस विभाग में नए-नए प्रयोग करने के लिए जाना जाता है। बीते साल देवरिया में हुए फतेहपुर कांड और अग्निवीर योजना के विरोध में हुए प्रदर्शन को उन्होंने बहुत ही बुद्धिमानी से संभाला था।
सीडीओ प्रत्यूष पाण्डेय
मुख्य विकास अधिकारी (सीडीओ) प्रत्यूष पाण्डेय ने कानपुर आईआईटी से ग्रेजुएशन किया है और अहमदाबाद आईआईएम से एमबीए भी किया। प्रत्यूष ने पहले ही प्रयास में यूपीएससी की परीक्षा पास की और 21वीं रैंक के साथ टॉपर्स की सूची में शामिल हुए।
देवरिया के सांसद शशांक मणि त्रिपाठी
शशांक मणि त्रिपाठी, देवरिया लोकसभा क्षेत्र के सांसद हैं और उन्होंने आईआईटी दिल्ली से बीटेक की पढ़ाई की है। वह एक लेखक, राजनीतिज्ञ और सामाजिक उद्यमी हैं।
शशांक जागृति यात्रा और जागृति इंटरप्राइज सेंटर पूर्वांचल के संस्थापक भी हैं, और उन्होंने सैकड़ों युवाओं को रोजगार प्रदान किया है। उनका विशेष ध्यान देवरिया के विकास पर है और उन्होंने इसके लिए एक मॉडल भी तैयार किया है।
विकास की उम्मीदें
देवरिया के इतिहास में यह पहली बार है जब जिले के शीर्ष पदों पर आईआईटी के प्रोडक्ट्स तैनात हैं। पुराना जिला होने के बावजूद देवरिया को विकास के मामले में काफी पिछड़ा माना जाता था। हालांकि, यहां विकास और रोजगार की अपार संभावनाएं हैं, लेकिन नेतृत्व क्षमता के अभाव में जिले का समुचित विकास नहीं हो सका। अब डीएम, एसपी, सीडीओ, और सांसद की प्रतिभा को देखते हुए देवरिया के लोगों की उम्मीदें काफी बढ़ गई हैं।
आईआईटीयंस अधिकारियों की यह जोड़ी निश्चित रूप से जिले के विकास को नई दिशा और गति देने में सक्षम है, जिससे लंबे समय से विकास की बाट जोह रहे देवरिया जिले के लोगों के जीवन में सकारात्मक बदलाव आ सकते हैं।
Author: samachar
"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."