संजय सिंह राणा की रिपोर्ट
चित्रकूट। ग्राम पंचायतों में बड़े पैमाने पर विकास कार्यों के नाम पर टैक्स की चोरी की जा रही है जहां पर फर्जी फर्मों के नाम पर सामग्री मद का भुगतान किया जा रहा है जिसपर ग्राम्य विकास विभाग व पंचायती राज विभाग के ज़िम्मेदार अधिकारी भी ध्यान नहीं दे रहे हैं वहीं दूसरी ओर वाणिज्य कर विभाग भी इन टैक्स चोरों पर खूब मेहरबान नज़र आ रहा है जिसके कारण सरकारी राजस्व को बड़ी मात्रा में नुकसान पहुंचाने का काम किया जा रहा है l
जिले के पांचों ब्लाकों में फर्जी फर्मों के नाम पर सामाग्री मद का भुगतान करने का खेल बड़ी मात्रा में चल रहा है l
जिले में सदर ब्लाक कर्वी सहित मऊ ब्लाक,मानिकपुर ब्लॉक, पहाड़ी व रामनगर ब्लाक शामिल हैं। जिनके अन्तर्गत लगभग 331ग्राम पंचायतें आती हैं। इन ग्राम पंचायतों में हर साल करोड़ों रुपये का भुगतान सामाग्री मद के नाम पर होता है जिन विकास कार्यों का भुगतान फर्जी फर्मों के नाम पर होता है उनमें इंटरलाकिंग खड़ंजा निर्माण, कायाकल्प योजना के तहत विद्यालयों के मरम्मती करण, टाइल्स निर्माण कार्य व स्ट्रीट लाइट आदि कार्यों के नाम पर भुगतान किया जा रहा है l
ग्राम पंचायतों में भूसा ख़रीद के नाम पर हो रही धांधली में ग्राम प्रधान, सचिव व ठेकेदार सहित जिम्मेदार अधिकारियों की भूमिका संदिग्ध।
सरकार द्वारा अन्ना प्रथा रोकने के लिए गौशालाओं का निर्माण कार्य कराया गया है वहीं गौवंशो के भरण पोषण के नाम पर सरकार द्वारा लाखों रुपए की धनराशि दी जा रही है जिसमें ग्राम प्रधानों , सचिवों व ठेकेदारों सहित जिम्मेदार अधिकारियों की मिलीभगत से करोड़ों रुपये के भुगतान फर्जी फर्मों के नाम पर किए जा रहे हैं व सरकारी राजस्व को बड़ी मात्रा में नुकसान पहुंचाने का काम किया जा रहा है जिन फर्मों के नाम पर सैकड़ों कुंतल भूसे का भुगतान किया जा रहा है उन फर्म संचालकों के घर पर एक मुट्ठी भूसा तक नहीं मिल सकता है इन फर्जी फर्म संचालकों के नाम पर न तो कोई भूसे की दुकानें हैं और न ही इनके घर पर एक मुट्ठी भूसा मिल सकता है लेकिन ग्राम प्रधानों, सचिवों व ठेकेदारों की मिलीभगत से गौवंशो के भरण पोषण के लिए भूसा ख़रीद के नाम पर फर्जी फर्मों के नाम पर भुगतान कर सरकारी धन का बंदरबाट किया जा रहा है जिसकी जानकारी जिम्मेदार अधिकारियों को होती है लेकिन कमीशनखोरी के चलते जिम्मेदार अधिकारियों की भी बोलती बंद रहती है l
फर्जी फर्मों को बढ़ावा देने में वाणिज्य कर विभाग की अहम भूमिका
जिले में संचालित ज्यादातर फर्मों में टैक्स चोरी बड़ी मात्रा में की जा रही है इन फर्मों के नाम पर ग्राम पंचायतों के विकास कार्यों की सामाग्री मद का भुगतान किया जा रहा है व सामाग्री मद भुगतान होने के बाद ज्यादातर फर्मों के टैक्स नहीं भरे जाते हैं व भुगतान के बाद फर्में बंद कर दी जाती हैं लेकिन फर्जी फर्मों के नाम पर भुगतान किए जाने के मामले में वाणिज्य कर विभाग भी कोई ध्यान नहीं देता है जिसके कारण ग्राम पंचायतों के विकास कार्यों में हुए फर्जीवाड़े पर कोई कार्यवाही नहीं हो पाती है l
सबसे बडी सोचने वाली बात यह है कि फर्जी फर्मों के नाम पर किए गए भुगतान के मामले को वाणिज्य कर विभाग के ज़िम्मेदार अधिकारी भी ध्यान नहीं दे रहे हैं जिसके कारण विकास कार्यों के नाम पर सरकारी राजस्व को बड़ी मात्रा में क्षति पहुंचाई जा रही है l
वहीं सूत्रों के अनुसार पता चला है कि वाणिज्य कर विभाग के ज़िम्मेदार अधिकारियों से साठ गांठ कर फर्जी फर्मों के संचालक अपनी मनमानी करते हुए नजर आते हैं और कार्यवाही नहीं हो पाती है l
Author: samachar
"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."