राजकुमार दोहरे की रिपोर्ट
ईंटों(जालौन)। लाईट के खम्भे पर सटडाउन लेकर काम कर रहे लाइनमैन को करंट लगा जिससे वह गम्भीर रूप से घायल हो गया।
बिद्युत कर्मचारी को उरई मेडिकल कॉलेज से उपचार के लिए झांसी रिफर कर दिया है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार गोहन थाना की चौकी ईंटों क्षेत्र के ईंटों पावर हाउस पर तैनात सबिदा कर्मी लाइनमैन हरिशंकर पुत्र रामबक्स निवासी बरियापुर थाना कोतवाली कुठौन्द सोमवार की शाम दिनांक 04/09 /023 को करीब 5 से 6 बजे के बीच अब्दुलापुर फीटर पर हमीदपुरा गांव में बिघुत पोल पर ऊपर चढ़कर काम कर रहे थे। बिजली के तारों को सुधार रहे थे। तभी पावर हाउस से लाईट छोड़ दी गई। जिससे सविंधा कर्मी को करंट लग गया। और लाइनमैन झुलस कर गम्भीर रूप से घायल हो गया। वह खम्भे से नीचे गिर गया। एक साईड का हाथ और पैर फैक्चर हो गया। सूत्रों के द्वारा बताया गया है कि लाइनमैन सटडाउन लेकर काम कर रहा था। तभी बिना सटडाउन वापस किए एस एसओ के द्वारा विघुत सप्लाई छोड़ दी गई। और लाईन मैन को करंट लग गया।एस एसओ भगवान सिंह कुशवाह का कहना है कि लाइनमैन ने हमसे 4.35 बजे सटडाउन लिया है। और 5.30 बजे सिड डाउन वापस कर दिया था। मुझे मालूम नहीं है लाइनमैन को करंट कैसे लगा है। कैसे क्या घटना हो गई। मुझे अन्य विघुत कर्मचारियों से पता लगा है कि एक लाइनमैन को करंट लग गया है।
बताया गया है कि लाइनमैन के फोन में काल रिकार्डिंग है उसने सटडाउन वापस नही किया था। बिना सटडाउन वापस किए ही एस एसओ ने सप्लाई छोड़ दी थी। घटना के बारे में एसडीओ कुठौन्द अखिलेश यादव से दूरभाष पर बात करके जानकारी ली।तो उन्होंने बताया है कि लाइनमैन की हालत गंभीर है। झांसी मेडिकल कॉलेज में इलाज चल रहा है। सटडाउन होने पर सप्लाई छोड़ देने की बात पर कहा है। कोई नया आया है एस एसओ उससे पूछताछ की जा रही है। जांच की जा रही है। घटना कैसे हुई पता किया जा रहा है। दोषी पाए जाने पर एस एसओ पर कार्यवाही की जायेगी।एफआईआर भी करवाई जायेगी। कहीं ना कहीं विघुत विभाग के अधिकारियों की भी लापरवाही है।पावर हाउस पर सरकारी नम्बर भी नही लगता है। हमेशा बन्द रहता है। और अगर लगता भी है तो आवाज नही आती है। बिजली से अगर कोई घटना होती है।तो किसे जानकारी दी जाऐ।इस ओर किसी भी जिम्मेदार का ध्यान आकर्षित नही होता है। सभी अपनी मनमर्जी से नौकरी कर रहे है।नियम कायदों से किसी को भी कोई मतलब नही है।
Author: samachar
"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."