जगदंबा उपाध्याय की रिपोर्ट
आजमगढ़। पुलिसकर्मी अक्सर छुट्टी न मिलने का दर्द बयां करते हैं, लेकिन इस सिपाही की कहानी थोड़ी अलग है। छुट्टी न मिलने से उसका वैवाहिक जीवन संकट में पड़ गया है। सिपाही ने जब अपर पुलिस अधीक्षक यानी से अपना दर्द बयां किया तो उन्हें हंसी भी आई और उसकी बेबसी पर दुख भी हुआ। बहरहाल उसकी छुट्टी उन्होने मंजूर कर ली।
महाराजगंज जिले के नौतनवा में तैनात है सिपाही
नौतनवा थाने में सिपाही तैनात है। उसका एक महीने पहले गौना हुआ है। उसे छुट्टी नहीं मिल रही थी। वह घर नहीं गया तो पत्नी नाराज हो गई। उसने पति से बात करना ही छोड़ दिया। इससे सिपाही परेशान हो गया।
सास को थमा देती थी फोन
सिपाही के मुताबिक जब भी वह पत्नी के मोबाइल पर फोन करता है तो वह काट देती है। कभी फोन उठाया भी तो कुछ नहीं बोलती फोन अपनी सास यानी सिपाही की मां को दे देती है। पत्नी की नाराजगी से उठ रहे दर्द को सिपाही ने शब्दों के माध्यम से प्रार्थना पत्र पर लिखा है।
पत्नी की नाराजगी का हवाला देकर मांगा सात दिन की छुट्टी
अपर पुलिस अधीक्षक को दिए प्रार्थना पत्र में उसने पत्नी की नाराजगी का हवाला दिया है। उसने पत्नी की नाराजगी दूर करने और भतीजे के जन्मदिन में शामिल होने के लिए सात दिन का अवकाश मांगा है। उसका कहना है कि उसने भतीजे के जन्मदिन में आने का वादा किया था।
पांच दिन का अवकाश हुआ स्वीकृत
सिपाही का प्रार्थना पत्र विभाग में चर्चा का विषय बना हुआ है। ASP ने सात दिन के बजाय उसका पांच दिन की छुट्टी मंजूर की है। सिपाही की छुट्टी 10 जनवरी से शुरू होगी। छुट्टी मिलने से वह काफी खुश है।
अपर पुलिस अधीक्षक आतिश कुमार सिंह ने बताया कि ड्यूटी पर तैनात पुलिसकर्मियों को उनकी जरूरत के मुताबिक छुट्टी दी जाती है। इस बात का भी विशेष ध्यान दिया जाता है कि छुट्टी के चलते शांति व्यवस्था में कोई व्यवधान न उत्पन्न हो। नौतनवा थाना के कांस्टेबल को भी उसके प्रार्थना पत्र के आधार पर पांच दिन की छुट्टी दी गई है।
Author: samachar
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