दुर्गा प्रसाद शुक्ला की रिपोर्ट
कानपुर। एक बुजुर्ग महिला के पैरों में चप्पल नहीं देख तपती धूप में उसकी तकलीफ के अहसास से खाकी पिघल गई। तुरंत बाजार से चप्पल खरीदकर पहनाई। टैक्सी से घर भेजा। मित्र पुलिस का यह उदाहरण प्रस्तुत किया मूसानगर थाने के सिपाही नीरज यादव ने। मानवता की यह फोटो अब इंटरनेट मीडिया पर वायरल हो रही है और लोग सिपाही की सराहना कर रहे हैं।
मूसानगर थाने में करीब 90 वर्षीय महिला वाटर कूलर देखकर पानी पीने आ गईं। सिपाही नीरज यादव की उन पर नजर पड़ी तो उनसे रहा न गया। दादी मां की तरह सम्मान देते हुए अपने पास बैठाकर हालचाल लिया तो बुजुर्ग महिला ने बताया कि वह नगीना गांव की निवासी हैं। वह अपना नाम नहीं बता पा रही थीं। नंगे पैर धूप में चलने को लेकर पूछा तो बताया कि चप्पल नहीं है। इसके बाद तुरंत बाजार से नीरज नई चप्पल लेकर आए, अपने हाथों से पहनाया। इस पर बुजुर्ग महिला की आंखों से खुशी के आंसू छलक उठे और सिर पर हाथ रखकर आशीर्वाद दिया।
नीरज ने कहा कि अम्मा, अब बताओ और कोई परेशानी…। वह बोलीं- अंगूर खाए का मन है। सिपाही ने एक किलो अंगूर खरीदकर दिया और किराया देकर टैक्सी में बैठा घर भेजा। इसकी तस्वीर इंटरनेट मीडिया पर वायरल हुई तो पुलिस महकमे के अलावा जनता के लोग नीरज को सलाम कर रहे हैं।

Author: samachar
"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."