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November 1, 2024 8:01 pm

महोबा रेंज से निलंबित होकर आए वन रक्षक ने चित्रकूट वन प्रभाग में तैनाती मिलते ही लिखी भ्रष्टाचार की पटकथा

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संजय सिंह राणा की रिपोर्ट

चित्रकूट- वन रक्षक के पद पर तैनात रहते हुए वृक्षारोपण व खनन मामले में निलंबित होकर चित्रकूट वन प्रभाग आया वन रक्षक अब वन दरोगा के पद पर तैनात हुआ है वन प्रभाग चित्रकूट में तैनात होते ही भ्रष्टाचार की नई पटकथा लिखनी शुरू कर दिया है महोबा रेंज के वन ब्लाक बीट बिलकी में तैनाती के दौरान वृक्षारोपण व खनन मामले में निलंबित हुआ था

चित्रकूट वन प्रभाग के रैपुरा रेंज में तैनाती मिलते ही वन दरोगा जितेंद्र प्रताप सिंह की खूब देखने को मिल रही है जहां पर वन दरोगा ठेकेदारों से मिलीभगत करके मनमाने तरीके से वृक्षों का कटान करवा रहा है वहीं अवैध रूप से आरा मशीने चलवा रहा है व उनसे मोटी रकम वसूल रहा है वहीं खनन माफियाओं से मिलीभगत करके पहाड़ों में अवैध खनन करवाकर वसूली कर रहा है l

रैपुरा रेंज के तिरहार क्षेत्र में वन दरोगा की मनमानी खूब देखने को मिल रही है जिसमें मनमाने तरीके से पौधों का कटान कराकर वसूली करने का काम किया जा रहा है
वहीं राष्ट्रीय राजमार्ग 35 के किनारे लगे वृक्षों को ठेकेदार की मिलीभगत से कटवाया जा रहा है वहीं राजापुर हटवा संपर्क मार्ग व राजापुर बोड़ीपोखरी मार्ग पर दबंग दरोगा की मनमानी खूब देखने को मिल रही है जहां पर अवैध कटान कराकर लकड़ी बेचने का काम किया जा रहा है l

रैपुरा रेंज के इटवा पहाड़ में भी दबंग वन दरोगा की मनमानी खूब देखने को मिल रही है जहां पर स्थानीय खनन माफियाओं से मिलीभगत करके अवैध संपत्ति अर्जित करने का काम कर रहा है l

ऐसा ही कुछ नज़ारा 01अगस्त 2021 को देखने को मिला था जहां पर दबंग वन दरोगा ने ठेकेदार तौफीक अहमद से मिलकर बरगढ़ रेंज में घुसकर वृक्ष कटवाने का काम किया गया था जिसमें बरगढ़ रेंज के वन कर्मियों द्वारा द्वारा मौके पर पकड़ा गया था लेकिन कोई कार्यवाही नहीं की गई l

सूत्रों के अनुसार पता चला है कि वन दरोगा जितेन्द्र प्रताप सिंह ने रैपुरा रेंज के बांधी गांव में राष्ट्रीय राजमार्ग 35 के किनारे लगे बेस कीमती शीशम के लगभग आठ से दस वृक्ष कटवाए गए व अपनी चहेती आरा मशीन में लकड़ी का चिरान कराया गया व पहचान मिटाने के लिए काटे गए वृक्षों के खूथ तक खोदवाकर गायब करा दिए गए l

प्रभारी प्रभागीय वनाधिकारी आर के दीक्षित का दाहिना हाथ बनकर कार्य करने वाले वन दरोगा जितेन्द्र प्रताप सिंह की मनमानी देखते ही बनती है जो अपनी मनमानी करते हुए मनमाने तरीके से वृक्षों का कटान करवा रहा है व पहाड़ों से खनिज चोरी करवाकर कर मोटी रकम वसूल कर अवैध संपत्ति अर्जित कर रहा है वहीं रैपुरा रेंज के वन क्षेत्राधिकारी राधेश्याम दिवाकर सजातीय होने के चलते वन दरोगा जितेन्द्र प्रताप सिंह के कारनामों पर पर्दा डालने का काम करते हैं व मिलीभगत करके मनमाने तरीके से वृक्षों के कटान व अवैध खनन पर सहभागिता निभाते हैं वहीं वन रेंज रैपुरा में तैनात बाबू विजय मोहन उर्फ़ पिंटू बाबू रेंज में कराए गए बौना नाली खोदाई, गोल गड्ढे खोदाई, सुरक्षा खाईं व पत्थर की खखरी निर्माण व पौध भराई कार्य में मजदूरों का मनमाने तरीके से शोषण कर रहा है व मजदूरों की मजदूरी खाते में न देकर पेटी कांट्रेक्टर के माध्यम से नकद मजदूरी देकर सरकारी धन का बंदरबाट करवा रहा है l

एक तरफ जहां सरकार पर्यावरण को बचाने के लिए बड़ी मात्रा में वृक्षारोपण के नाम पर करोड़ों रुपए खर्च कर रही है वहीं दूसरी वन दरोगा व ठेकेदार अपनी मनमानी करते हुए बड़ी मात्रा में वृक्षों का कटान कराकर पर्यावरण को नुकसान पहुंचाने का काम करते हुए नजर आ रहा है l

कहने को तो वन विभाग द्वारा हर वर्ष लाखों की तादाद में पौध रोपण का काम किया जाता है व लाखों रुपए खर्च का खर्च दिखाने का काम किया जाता है व जमीन पर पौध रोपण करने के लिए जमीन कहां से लाई जाती है यह शायद वन विभाग को ही पता है l

शासनादेश के अनुसार जिस जमीन वृक्षारोपण कार्य हुआ है उसमें दस वर्ष तक दोबारा वृक्षारोपण नहीं किए जाने का प्राविधान रखा गया है लेकिन शासन के निर्देशों का खुला उल्लंघन करते हुए उन्ही जगहों पर हर वर्ष वृक्षारोपण दिखाकर सरकारी धन का गबन कर लिया जाता है l

लेकिन यह पौध आखिर कहां गायब हो जाते हैं इसका पता शायद प्रशासन को भी नहीं है l

samachar
Author: samachar

"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."