ब्रजकिशोर सिंह की रिपोर्ट
उत्तर प्रदेश के फिरोजाबाद जिले में सोमवार को एक अजीबोगरीब घटना सामने आई, जब एक व्यक्ति के अंतिम संस्कार की प्रक्रिया के दौरान उसके परिवार को अचानक यह पता चला कि मृतक के नाम पर बीमा पॉलिसी है। यह जानकारी मिलते ही परिवार ने शव को चिता से उतार लिया और बीमा क्लेम के लिए जरूरी प्रक्रिया के तहत शव को पोस्टमार्टम के लिए ले गए। पोस्टमार्टम के बाद ही अंतिम संस्कार पूरा किया गया।
यह मामला दम्मामल नगर का है, जहां 55 वर्षीय हरेंद्र नामक व्यक्ति की करंट लगने से मौत हो गई थी। हरेंद्र घर में बिजली का काम कर रहे थे, इसी दौरान अचानक उन्हें करंट लगा और उनकी मृत्यु हो गई। इस दुःखद घटना के बाद परिवार के लोग शोक में डूब गए और रिश्तेदार एवं पड़ोसी शोक व्यक्त करने के लिए उनके घर पर इकट्ठा हुए।
हरेंद्र के शव को श्मशान घाट ले जाया गया, जहां अंतिम संस्कार की लगभग सारी प्रक्रियाएं पूरी हो चुकी थीं और केवल मुखाग्नि देने का काम बाकी था। तभी परिवार के एक सदस्य को यह याद आया कि हरेंद्र के नाम पर एक बीमा पॉलिसी थी, जिसका क्लेम पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बिना नहीं किया जा सकता।
बीमा योजना की बात याद आते ही, परिवार ने आनन-फानन में हरेंद्र के शव को चिता से नीचे उतारा और तुरंत पुलिस को सूचना दी। इसके बाद शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया। पोस्टमार्टम की प्रक्रिया पूरी होने के बाद, परिवार शव को वापस श्मशान घाट लेकर आया और फिर पूरे विधि-विधान के साथ अंतिम संस्कार की प्रक्रिया पूरी की।
इस घटना ने इलाके में काफी चर्चा पैदा की, क्योंकि शव को अंतिम संस्कार के दौरान रोककर पोस्टमार्टम के लिए ले जाना एक असामान्य स्थिति थी। हालाँकि, परिवार को बीमा क्लेम के लिए यह जरूरी कदम उठाना पड़ा, और इसके बाद ही उन्होंने मृतक के संस्कार को पूरा किया।
Author: samachar
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