जगदंबा उपाध्याय की रिपोर्ट
आजमगढ़। दीदारगंज थाना क्षेत्र में एक व्यक्ति फर्जी सीआईडी कर्मी बनकर पासपोर्ट आवेदकों से वसूली कर रहा है। यह मामला तब सामने आया जब एक पासपोर्ट आवेदक ने इस संबंध में दीदारगंज थाने में मामला दर्ज कराया।
शिकायतकर्ता का आरोप है कि एक व्यक्ति, जो स्वयं को सीआईडी कर्मी बताता था, ने जांच के नाम पर उससे एक हजार रुपये ठग लिए।
पुलिस ने इस घटना की जानकारी मिलने पर मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। पुलिस का मानना है कि इस गिरोह में और भी लोग शामिल हो सकते हैं।
इस मामले में दीदारगंज थाना क्षेत्र के नौहरा गांव के निवासी अबुजर पुत्र मोहम्मद अरशद ने अपनी शिकायत दर्ज कराई है।
उन्होंने पुलिस को बताया कि लगभग दो महीने पहले उन्होंने और उनके भाई अबुजैद ने पासपोर्ट के लिए आवेदन किया था। लगभग एक महीने पहले एक व्यक्ति उनके गांव में पहुंचा और स्वयं को सीआईडी अधिकारी बताते हुए कहा कि वह पासपोर्ट की जांच करने आया है। इस दौरान उसने जांच के नाम पर 500-500 रुपये की मांग की। अबुजर और उनके भाई ने उसे 1000 रुपये दे दिए, लेकिन कुछ समय बाद उन्हें पता चला कि वह व्यक्ति असली सीआईडी कर्मी नहीं था, बल्कि फर्जी था और जांच के बहाने से पैसा ठग रहा था।
अबुजर ने यह भी बताया कि यह व्यक्ति उनके गांव और आसपास के अन्य गांवों में भी लोगों से इसी तरह से ठगी कर चुका है। उन्होंने आशंका जताई कि यह एक संगठित गिरोह हो सकता है, जो पासपोर्ट आवेदकों को निशाना बनाकर उनसे पैसे ठगने का काम कर रहा है।
दीदारगंज थाने में दर्ज शिकायत के आधार पर पुलिस ने इस मामले की जांच शुरू कर दी है। मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस अन्य संभावित पीड़ितों और गिरोह के बारे में भी जानकारी जुटा रही है।
पुलिस अधीक्षक ग्रामीण चिराग जैन ने कहा कि मामले की जांच की जा रही है और जल्द ही इस गिरोह के सदस्यों को गिरफ्तार किया जाएगा।
पुलिस ने आवेदकों से सतर्क रहने की अपील की है और कहा है कि यदि कोई व्यक्ति जांच के नाम पर पैसे मांगता है, तो उसकी पूरी जानकारी जुटाने के बाद ही उसे पैसे दिए जाएं, और किसी भी तरह की ठगी की आशंका होने पर तुरंत पुलिस को सूचित किया जाए।
पासपोर्ट के आवेदकों को जांच प्रक्रिया के दौरान पूरी सतर्कता बरतने की सलाह दी जा रही है, ताकि भविष्य में इस प्रकार की घटनाओं से बचा जा सके।
Author: samachar
"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."