इरफान अली लारी की रिपोर्ट
सलेमपुर (देवरिया)। नगर के जी एम अकादमी सलेमपुर में विद्यालय के संस्थापक, शिक्षक समाज के पथ प्रदर्शक, मां सरस्वती के वरद पुत्र स्वर्गीय गौरी शंकर द्विवेदी की पुण्यतिथि बहुत ही श्रद्धा से मनाई गई।
इस अवसर पर श्रीरामचरितमानस पाठ का संगीतमय आयोजन आचार्य हरेराम मिश्र, पं. शुभम मिश्र एवं टीम द्वारा किया गया। मानस पाठ के समापन पर विद्यालय के संगीत शिक्षक करन राज मिश्र द्वारा सुंदर भजन एवं गीतों ने सभी उपस्थित भक्त जनों के हृदय को भाव विभोर कर दिया, तदुपरांत हवन एवं पूजन कर मानस पाठ कार्यक्रम को संपन्न किया गया। तत्पश्चात सायं कालीन बेला में कार्यक्रम की शुरुआत स्वर्गीय गौरी शंकर द्विवेदी की प्रतिमा पर उपस्थित गणमान्य लोगों के द्वारा पुष्प अर्पित और पूजन किया गया।
इस अवसर पर विद्यालय के प्रबंधक डॉ. श्री प्रकाश मिश्र ने कहा कि क्षेत्र में ही नहीं अपितु जिले में यह विद्यालय शिक्षा के सभी क्षेत्रों में अपना कीर्तिमान तो स्थापित किया ही साथ में हम सभी के लिए एक प्रेरणा के कृत्य भी स्थापित किया और इन सबका श्रेय हमारे संस्थापक जी के सद्कर्मों एवं ऊंची सोच एवं उनके आशीर्वाद का परिणाम है। इस क्रम में सेंट जेवियर्स स्कूल के प्रधानाचार्य वी के शुक्ल ने स्वर्गीय द्विवेदी जी के द्वारा स्थापित कीर्ति को बड़े ही मार्मिक तरीके से याद किया।
श्रद्धांजलि सभा के उद्बोधन क्रम में उत्तर प्रदेश सरकार में राज्य मंत्री श्रीमती विजयलक्ष्मी गौतम ने कहा कि महान शिक्षाविद स्वर्गीय गौरीशंकर द्विवेदी के कर्मठता के मैने बहुत ही नाम सुना है, जिस विद्यालय का संस्थापक स्व. द्विवेदी जैसी महान विभूति ही है, भला वह संस्था दिन दूनी रात चौगुनी क्यों न पुष्पित पल्लवित होती रहे। इस विद्यालय के अनुशासित छात्र छात्राएं, बहुत अच्छा परीक्षाफल क्षेत्र की गरिमा में चार चाँद लगा रहे हैं।
प्रधानाचार्य मोहन द्विवेदी ने कहा कि हम सभी के प्रेरणा स्रोत, मार्गदर्शक एवं पथ प्रदर्शक थे, जिनके बताएं सन्मार्ग पर चलते हुए हम सभी अपने जीवन के दायित्व का निर्वहन कर रहे हैं ।
जी एम अकादमी ,गोरखपुर के प्रशासक शैलेंद्र मणि त्रिपाठी ने द्विवेदी जी की कीर्ति को याद कर संसार में मनुष्य के जीवन का धर्म क्या है इस बिंदु पर प्रकाश डाला।
विद्यार्थी आशुतोष पांडे के द्वारा बहुत ही सुंदर भजन प्रस्तुत किया गया, जिसे लोगों ने बहुत सराहा।
वन विभाग में डीएफओ रहे एवं रेनबो एकेडमी के प्रबंधक मनमोहन मिश्र ने भी अपनी आकर्षक रचना के माध्यम से विचार प्रस्तुत किए। इसी क्रम में चकरवा में स्व.द्विवेदी के साथ शिक्षण कार्य कर चुके नरसिंह त्रिपाठी ने अपने अनुभवों की चर्चा करते हुए बताया कि स्व. द्विवेदी बहुत ही अच्छे प्रशासक और प्रकृति से शिक्षक थे, जिन्होंने हमे बहुत कुछ दिया। ऋषिकेश मणि ने स्व.द्विवेदी की उदारता का वर्णन किया।
इस श्रद्धांजलि सभा को अन्य गणमान्य लोगों ने भी संबोधित किया।
तत्पश्चात राष्ट्रीय स्तर की श्रीमद् भागवत कथावाचिका श्रीमती साधना शास्त्री ने बहुत ही आकर्षक प्रवचन प्रस्तुत करते हुए कहा कि स्व. गौरीशंकर द्विवेदी हमारे प्रेरणाश्रोत, गुरु एवं मार्गदर्शक थे, जिन्होंने आज हमे इस लायक बनाया कि आज मैं दूर दूर तक कथा सुना पा रही हूं।
साधना शास्त्री ने कम समय में श्री राम चरित्र का मनमोहक गुणगान, पुरुष एवं नारी चरित्र पर बहुत ही बल देते हुए आज के युग में विद्यार्थी, अध्यापक, माता पिता, अभिभावक की महत्वपूर्ण भूमिका पर बहुत ही सुंदर व्याख्यान प्रस्तुत की।
इस मौके पर संदीप श्रीवास्तव प्रबंधक आर एल अकादमी, डा. प्रद्युम्न पांडेय, डा.उद्धव पांडेय, डा. वी वी तिवारी, चंद्रभूषण पांडेय, बलिराम तिवारी, विश्वंभर नाथ तिवारी, डा. त्रिपुणायक विश्वकर्मा, राकेश मिश्र, संभावना मिश्रा, पार्वती देवी, वसुधा द्विवेदी, रामजीत दूबे, राकेश पांडेय, रामविलास तिवारी, सच्चिदानंद द्विवेदी, गणेश द्विवेदी, रमाकांत द्विवेदी, सच्चिदानंद शुक्ल, रामप्रताप सिंह, आदि के अलावा विद्यालय के सभी अध्यापक, अध्यापिकाएं एवं समस्त कर्मचारी उपस्थित थे। कार्यक्रम का संचालन विद्यालय के अध्यापक आशुतोष तिवारी और डॉ. विनीत वर्मा द्वारा किया गया।
Author: samachar
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