दुर्गा प्रसाद शुक्ला की रिपोर्ट
अयोध्या। उत्तर प्रदेश के रामनगरी अयोध्या में बेहद चौंकाने वाला मामला सामने आया है। जिसमें एक 95 वर्षीय संत खुद को जिंदा साबित करने के लिए जद्दोजहद कर रहे हैं। महंत युगल बिहारी दास का आरोप है कि प्रशासन की मिलीभगत से कागजों में उनको मृत घोषित कर उनकी जमीन को हनुमानगढ़ी के एक संत ने अपने नाम करा लिया है। अब महंत ने खुद को जिंदा साबित करने और अपनी जमीन वापस पाने के लिए उच्च न्यायालय की शरण ली है।
खुद को जिंदा साबित करने हाईकोर्ट पहुंचे 95 साल के महंत
जानकारी के मुताबिक, मामला अयोध्या कोतवाली क्षेत्र के हनुमानगढ़ी बसंतिया पट्टी का है। जहां करीब 20 वर्ष पहले महंत युगल बिहारी दास का जाली मृत्यु प्रमाण पत्र बनवा कर हनुमानगढ़ी के ही संत ने जमीन को अपने नाम करा लिया। इसके बाद जब इन्हें इस प्रकरण का पता चला तब से लेकर अब तक खुद को जिंदा साबित करने के लिए अयोध्या प्रशासन से लेकर उच्च न्यायालय तक की दौड़ लगा चुके हैं लेकिन महंत युगल बिहारी दास आज भी कागजों में मृत हैं।
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आपको बता दें कि करीब 95 वर्ष की उम्र होने के कारण महंत युगल बिहारी दास खुद तो कुछ ज्यादा नहीं बता पा रहे हैं, लेकिन उनके सहयोगी संत श्री पंत दास की मानें तो युगल बिहारी दास अयोध्या हनुमानगढ़ी में रहते थे और इस दौरान उन्होंने 4 बीघा जमीन खरीदी, लेकिन कुछ दिनों के लिए जब महंत बिहार गए तो इसी बीच हनुमानगढ़ी के ही संत गौरी शंकर दास ने उनका फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र बनवा कर जमीन को अपने नाम करा लिया। इसके बाद वापस आने पर जब उन्हें जानकारी हुई तो एफआईआर दर्ज कराई, जिसके बाद गौरी शंकर दास ने उनसे मारपीट भी की।
Author: samachar
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