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November 2, 2024 2:53 pm

दबंगई या सरकार की सह ; लेखापाल दे रहा ग्राम प्रधान को मारने की धमकी, जानिए क्या है मामला

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कमलेश कुमार चौधरी की रिपोर्ट

जालौन। दबंग लेखपाल सतेन्द्र लोधी ने ग्राम प्रधान ब्रेजेश गोतम को जान से मारने की धमकी। 

मामला ग्राम पंचायत चमारी थाना आटा क्षेत्र के अंतर्गत दबंग लेखपाल सतेन्द्र लोधी राजपूत की कायराना हरकत से ग्राम पंचायत चमारी के ग्रामीणों में रोष व्याप्त है।

सूत्रों की मानें तो दबंग लेखपाल अपने रसूख के बल पर विगत कई वर्षों से ग्राम पंचायत चमारी में स्थित है और इस लेखपाल के खिलाफ अधिकारियों के द्वारा कोई कार्यवाही नहीं हुई और न कहीं ट्रांसफर किया गया।

दिनांक 15/05/22 को लेखपाल सतेन्द्र ग्राम पंचायत चमारी में किसी जमीन की पैमाइस करने पहुंचे थे। इसी दौरान प्राथमिक विद्यालय में लेखपाल के द्वारा फोन के माध्यम से फीता लाने को कहा। ग्राम प्रधान ब्रेजेश गोतम अपने सहयोगियों को फीता लेकर भेज दिया लेकिन लेखपाल सतेन्द्र प्राथमिक विद्यालय से पूर्व प्रधान के घर चलें गये। काफी देर बृजेश गौतम प्रधान इन्तजार करने के पश्चात अपने सहयोगियों को लेखपाल महोदय को बुलाने का प्रयास किया। रास्ते में ग्रामवासी शिवराम व परमलाल एवं सुनील लेखपाल को बुलाने पहुंचे थे लेकिन लेखपाल सतेन्द्र रास्ते में ही आते हुए मिले। उसी दौरान ग्रामीणों ने कहा कि साहब विद्यालय में प्रधान जी इन्तजार कर रहे हैं। इतना बोलने पर दबंगई करते हुए लेखपाल मां बहन की गालियां देने लगे और जाति सूचक शब्दों से ग्राम वासियों के सामने अपमानित किया और मारने का प्रयास किया गया।

मौके पर ग्रामीणों ने प्रधान ब्रेजेश गौतम की जान बचाई। जानकारी मिलने पर पहुंचे पत्रकारों से बातचीत के दौरान पत्रकारों ने लेखपाल सतेन्द्र की कार्य शैली के बारे उपजिलाधिकारी कालपी को सूचना देने पर कोई संतोषजनक जवाब नहीं दिया। उसी दौरान एसपी उरई को अवगत कराया गया। 

जालौन एसपी के पी आर ओ से बात होने के पश्चात मामले को गंभीरता से लेते हुए ग्राम प्रधान बृजेश गौतम को सुबह 10:00 बजे मिलने बुलाया गया। लेकिन तत्कालीन थानाध्यक्ष प्रभारी आटा को कार्यवाही करने के निर्देश दिए।

उत्तर प्रदेश में चल रही योगी सरकार के सख्त निर्देश होने के बाबजूद एससी समाज के लोगों का उत्पीडन तो हो ही रहा लेकिन वर्तमान में नवनिर्वाचित प्रधान सुरक्षित नहीं हैं । 

samachar
Author: samachar

"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."