संजय सिंह राणा की रिपोर्ट
चित्रकूट- जिले में मुर्गे व मीट की दुकानों का कारोबार बड़ी ही तेजी से चल रहा है जहां सरकारी मानकों को दरकिनार करते हुए मीट संचालक अपनी मनमानी करते हुए नजर आ रहे हैं वहीं विभागीय अधिकारी अवैध वसूली के चलते कुछ बोलने को तैयार नहीं हैं l
खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन के जिम्मेदार अधिकारियों द्वारा खूब मनमानी की जा रही है जो थोड़ा सा समय मिलने पर अपने अपने घरों के लिए निकल जाते हैं जिसके कारण यह मुर्गे व मीट की दुकानों का संचालन मनमाने तरीके से करते हैं मीट की दुकानों के संचालकों द्वारा सरकारी निर्देशों का खुला उल्लंघन किया जा रहा है l
हद तो तब हो गयी जब इन मीट संचालकों द्वारा मंदिरो को भी नहीं बख्शा जा रहा है व मन्दिरो के आस पास गंदगी फ़ैलाते नजर आ रहे हैं l
जिला मुख्यालय सहित जिले के नगर पंचायतों व कस्बों में मीट की दुकाने भारी मात्रा में अवैध तरीके से संचालित हैं l जिनका कोई रजिस्ट्रेशन नहीं है और न ही लाइसेन्स बना है वहीं बिना मेडिकल परीक्षण के बकरे व मुर्गे को काटकर लोगों को परोसा जा रहा है जिसके कारण लोग बड़ी मात्रा में बीमार भी हो रहे हैं
मीट संचालकों द्वारा बीमार बकरे व मुर्गे को काटकर लोगों को परोसा जा रहा है व आम जनता के स्वास्थ्य से खिलवाड़ किया जा रहा है वहीं खाद्य सुरक्षा विभाग कमीशनखोरी के चलते तमाशाई बना नजर आ रहा है l
कोरोना के संकट से अभी सही तरीके से निजात भी नहीं मिली है लेकिन उसके बावजूद मीट संचालकों द्वारा भीषण गर्मी में बीमार बकरी व बकरों व मुर्गो को काटकर बेंचा जा रहा है लेकिन खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन के जिम्मेदार अधिकारियों द्वारा कोई जांच व परीक्षण कराया जाता है जिसके कारण मुर्गे व मीट की दुकानों को संचालित करने वालों की मनमानी देखते ही बनती है l
सरकारी निर्देशों का खुला उलंघन करने वाले व सरकार द्वारा चलाये जा रहे स्वच्छता अभियान की खुलेआम धज्जियां उड़ाने वाले इन मीट की दुकानों पर कब जिला प्रशासन आवश्यक कार्यवाही करने का काम करेगा व जांच कराकर अवैध रूप से संचालित इन दुकानों पर कब ताला जड़ने का काम करेगा
यह एक बड़ा विषय है l
जिला मुख्यालय में जहाँ मीट की लगभग दर्जनों दुकाने संचालित है जिसमे कुछ दुकाने लाइसेंस धारक हैं व कई दुकाने अवैध रूप से संचालित हैं वहीं राजापुर, पहाड़ी, भरतकूप, शिवरामपुर, बरगढ, व सरैया, मानिकपुर सहित जिले में लगभग सैकड़ों दुकाने हैं जो बिना लाइसेंस व रजिस्ट्रेशन के चल रही हैं l
बिना रजिस्ट्रेशन व बिना लाइसेंस के चल रही मीट की दुकानो द्वारा सरकारी राजस्व को चूना लगाया जा रहा है l बिना मानक के चल रही इन दुकानो से जमकर अवैध वसूली की जा रही है l
पूर्व अभिहीत अधिकारी चंद्रशेखर मिश्र के कार्यकाल में लगभग 23सौ रजिस्ट्रेशन व लगभग साढे चार सौ लाइसेन्स धारक थे लेकिन आज हालात यह है कि जहाँ रजिस्ट्रेशन व लाइसेंस धारको की संख्या बहुत कम हो गई है l
अवैध वसूली के चलते लाइसेंस व रजिस्ट्रेशन नहीं बनाये जा रहे हैं l जिससे अवैध वसूली की जा रही है व सरकारी राजस्व को नुकसान पहुंचाने का काम किया जा रहा है l
Author: samachar
"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."