ठाकुर बख्श सिंह की रिपोर्ट
बरेली जिले के शाही और शीशगढ़ इलाकों में पिछले 13 महीनों में 9 महिलाओं की हत्या के मामले ने पुलिस को गंभीरता से जांच करने पर मजबूर कर दिया।
इन हत्याओं का पैटर्न एक समान था। सभी महिलाओं की साड़ी या दुपट्टे से गला घोंटकर हत्या की गई थी, और शवों को झाड़ियों या खेतों में फेंक दिया गया था। हत्याओं का शिकार हुई महिलाओं की उम्र 45 से 55 साल के बीच थी।
पुलिस ने हत्याओं की श्रृंखला को देखकर सीरियल किलिंग का शक जताया और व्यापक जांच शुरू की। आरोपी की पहचान कुलदीप गंगवार के रूप में हुई, जो बाकरगंज समुआ गांव का निवासी है और लगभग 40 साल का है। उसने अपने अपराधों को स्वीकार कर लिया है।
पुलिस ने यह भी पता लगाया कि कुलदीप की सौतेली मां के साथ बचपन में हुई प्रताड़ना की वजह से उसे महिलाओं से नफरत हो गई थी। उसकी शादी के बाद भी उसने अपनी पत्नी के साथ हिंसक बर्ताव किया, जिसके कारण उसकी पत्नी उसे छोड़कर चली गई और उसकी महिलाओं के प्रति कुंठा और बढ़ गई।
कुलदीप के पास न तो कोई साइकिल थी, न बाइक, और न ही मोबाइल फोन। वह पूरी तरह से पैदल चलकर अपने शिकार को टारगेट करता था, जिससे उसकी पहचान और ट्रेसिंग में मुश्किलें आईं।
पुलिस ने आरोपी को पकड़ने के लिए एक विशेष ऑपरेशन ‘ऑपरेशन तलाश’ शुरू किया। इसमें 22 टीमें बनाई गईं, 150 जगहों पर छापेमारी की गई, और 1.5 लाख मोबाइल नंबरों की जांच की गई।
25 किलोमीटर के इलाके के 1500 CCTV फुटेज खंगाले गए और संदिग्ध क्षेत्रों में 600 नए कैमरे लगाए गए। मुंबई के विशेषज्ञों और क्लीनिकल साइकोलॉजी के एक्सपर्ट की मदद भी ली गई।
अंततः, 3 दिन पहले जारी किए गए संदिग्धों के स्केच में से एक कुलदीप का था, और एक मुखबिर की सूचना पर उसे गिरफ्तार कर लिया गया। इस ऑपरेशन के दौरान, सादी वर्दी में महिला पुलिसकर्मियों की तैनाती भी की गई थी, जिससे कि संदिग्धों की पहचान में मदद मिली।
Author: samachar
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