दुर्गा प्रसाद शुक्ला की रिपोर्ट
संतकबीरनगर में ओपी राजभर की पार्टी सुभासपा की महिला मंच की प्रदेश महासचिव नंदिनी राजभर की हत्या का पुलिस ने गुरुवार को सनसनीखेज खुलासा कर दिया। 10 मार्च को दिनदहाड़े नंदिनी राजभर की हत्या कर दी गई थी।
पुलिस ने वारदात को अंजाम देने वाले साहुल राजभर को गिरफ्तार किया है। उसकी निशानदेही पर हत्या में इस्तेमाल हथौड़ी और अन्य सामान बरामद किया है। पकड़े गए आरोपी और नंदिनी के बीच प्रेम संबंध था। उसने नंदिनी को सैमसंग का मोबाइल गिफ्ट किया था। कई बार में 26 हजार रुपए भी दिए थे। इसके बाद कुछ ऐसा हुआ कि नंदिनी से प्रेम करने वाले ने ही उसकी नृशंस हत्या कर दी।
पुलिस अधीक्षक सत्यजीत गुप्ता ने गुरुवार को बताया कि नंदिनी राजभर की हत्या की घटना के बाद संदेह के आधार पर उसके परिजन द्वारा दी गई तहरीर में नामजद किए गए पांच आरोपियों में से एक पहले ही जेल में था तथा तीन अन्य को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया गया था। एक अभियुक्त फरार चल रहा था। यह त्वरित कार्रवाई इसलिए की गई कि तत्काल पुलिस के पास कोई प्रारंभिक जानकारी नहीं थी।
इस बीच नंदिनी राजभर की हत्या की घटना की जांच में जुटी खलीलाबाद कोतवाली पुलिस और एसओजी टीम को घटना के पीछे कुछ अन्य कारणों का पता चला और पुलिस टीम उस दिशा में जांच में जुटी तो कड़ी से कड़ी जुड़ने लगी। पुलिस टीम ने पूरी सतर्कता सें कई लोगों से पूछताछ की और पुख्ता सुराग मिलने पर मुख्य आरोपी साहुल राजभर तक पहुंच गई। साहुल की गिरफ्तारी के साथ ही घटना का खुलासा हो गया।
मेडिकल की दुकान पर आते-जाते हुआ प्यार
एसपी ने बताया कि पूछताछ में गिरफ्तार अभियुक्त साहुल राजभर ने बताया कि ग्राम डीघा थाना कोतवाली खलीलाबाद के तेनू राजभर से उसकी बड़ी बहन ममता की शादी हुई है। लगभग एक साल पहले वह अपने बहनोई तेनू राजभर के घर में रहकर मेडिकल स्टोर चलाता था। डीघा गांव की नंदिनी राजभर भी उससे दवा ले जाती थी जिससे उसकी जान-पहचान हुई फिर प्रेम संबंध हो गया। नंदिनी को बस्ती जनपद में बुलाकर सैमसंग का मोबाइल फोन दिया और कई बार में नंदिनी को कुल 26 हजार रूपये भी दिया था।
नंदिनी का व्यवहार बदल गया था
आरोपी के अनुसार कुछ दिनों से नंदिनी का व्यवहार बदल गया था और उससे बातचीत नहीं कर रही थी। जब भी फोन मिलाता था तो बात करने से बचती थी और अनदेखी कर रही थी। इस बात को लेकर दोनों में झगड़ा भी होने लगा था। उसने अपना मोबाइल व 26 हजार रूपये वापस करने को कहा तो वह देने से इनकार करने लगी और जेल भेजवाने की धमकी देने लगी। इस बात को लेकर उससे बहस हुई थी। इसी से नाराज होकर दस मार्च को उसने हथौड़ी से नंदिनी के सिर पर कई बार वार किया। जब इत्मीनान हो गया कि वह मर चुकी है तब वह अपने बहनोई के घर गया।
बहनोई के यहां उसने अपनी शर्ट बदलकर टी-शर्ट पहन ली। हथौड़ी को पैंट की जेब में रखकर उसे टी-शर्ट से छिपाकर मेंहदावल बाईपास होते हुए पैदल आया और नंदिनी के मोबाइल से सिम निकाल कर उसे बाईपास के के पास तोड़कर फेंक दिया। हथौड़ी को अग्रवाल नेत्रालय के आगे नहर में फेंक दिया।
Author: samachar
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