आत्माराम त्रिपाठी की रिपोर्ट
लखनऊ: सपा-कांग्रेस की लड़ाई अब खुलकर सामने आती हुई दिखाई दे रही है। एक ओर लोकसभा चुनाव 2024 है तो दूसरी ओर मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ चुनाव अपने अंतिम दौर में है। ऐसे में सपा-कांग्रेस के नेताओं में जुबानी जंग और तेज हो गई। इससे साफ पता चला रहा है कि इंडिया गठबंधन में दरार बढ़ती जा रही है। सपा के राष्ट्रीय सचिव एवं प्रवक्ता राजीव राय ने कांग्रेस पर जमकर हमला बोला तो वहीं कांग्रेस नेता ने भी पलटवार किया।
कांग्रेस को गिनाए अहसान
सपा प्रवक्ता ने पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खरगे को मेंशन करते हुए एक्स (ट्विटर) पर एक पोस्ट लिखा, जिसमें कहा कि क्या आपके प्रवक्ता को इतना नहीं पता कि समाजवादी थाली में छेद नहीं करते हैं। यही नहीं उन्होंने आगे कहा कि बीजेपी को रोकने के लिए सपा ने कई बार अपनी थाली का खाना निकालकर कांग्रेस को दिया है। 2009 में यूपीए सरकार के समर्थन से लेकर 2017 के चुनाव में गठबंधन में कांग्रेस को दिए 106 सीटों का जिक्र राजीव राय ने कर दिया। कहा कि ऐसा नहीं होता तो 2009 में ही आपकी (कांग्रेस) सरकार गिर गई होती। 106 सीटें देने का खामियाजा हम झेले हैं।
याद दिलाया दिल्ली का रास्ता यूपी से जाता है
राजीव राय कांग्रेस पर आक्रामक रूप से हमलावर दिखाई दिए। उन्होंने कहा कि आपके (कांग्रेस) नेताओं को पता होना चाहिए की यूपी में कांग्रेस भुखमरी की कगार पर पहुंच गई है। उन्होंने कहा कि अगर हम आपकी थाली में दाना न डालें तो 2 भी नहीं बचेगी। फिर इतना अहंकार किस बात का, इसलिए आप उन्हें हकीकत से रूबरू होकर इंडिया गठबंधन की मजबूती के लिए काम करने को कहें। साथ ही सपा प्रवक्ता ने कहा कि दिल्ली का रास्ता यूपी से होकर जाता है।
कांग्रेस ने सपा किया पलटवार
सपा प्रवक्ता के एक्स पर पोस्ट करने के बाद कांग्रेस ने भी हमला किया। यूथ कांग्रेस यूपी ईस्ट के प्रवक्ता धर्मेंद्र कुमार ने कहा कि ज्ञान तो आप कांग्रेस को दे रहे हैं, लेकिन आपका अहंकार खुद ही इंडिया गठबंधन की जड़ें खोदने में जुटा है। यही नहीं उन्होंने 2009 चुनाव में कांग्रेस के अकेले 21 सीटें जीतने का जिक्र किया और कहा कि आज आप भी पांच पर हैं। साथ ही एहसान जतना छोड़ना चाहिए। कहा कि सपा के दम पर कांग्रेस दो सीटें जीतती है तो सपा भी पांच ही सीटें जीत पा रही है। इस पर पलटवार करते हुए राजीव राय ने कहा कि इतना ज्ञान आप अजय राय, अलका लांबा और कमलनाथ को क्यों नहीं देते। 2014 में कितने पर आ गए।
Author: samachar
"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."