कमलेश कुमार चौधरी की रिपोर्ट
उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में एक ऐसा फ्रॉड और ‘वसूली किंग’ सामने आया है, जिसकी कहानी और कारनामे सुनकर लोग हैरान हैं। यह व्यक्ति खुद को राज्यसभा सांसद बताने वाले मनोज सिंह हैं, जिन्हें योगी आदित्यनाथ सरकार ने वाई श्रेणी की सुरक्षा भी प्रदान कर रखी है।
गुंडागर्दी और वसूली का मामला
राजधानी के गौतमपल्ली थाना क्षेत्र में कथित भाजपा नेता मनोज सिंह की दबंगई का मामला सामने आया है। आरोप है कि मनोज सिंह के गुर्गों ने एक होटल में खाना खाने गए परिवार के साथ न सिर्फ मारपीट की, बल्कि महिलाओं और बच्चों के साथ बदसलूकी भी की। पुलिस ने मामले में कार्रवाई करते हुए मनोज सिंह के गुर्गों को गिरफ्तार किया, लेकिन वाई श्रेणी सुरक्षा के साथ पहुंचे मनोज सिंह ने कथित तौर पर थाने में दबाव डालकर अपने गुर्गों को छुड़ा लिया।
कैसे खुला मामला
घटना तब सामने आई जब पीड़ित रवि अपने परिवार के साथ गौतमपल्ली थाना क्षेत्र के चटोरी गली में एक होटल में जन्मदिन मनाने गया था। वहां पेमेंट को लेकर विवाद हुआ, जिसके बाद होटल संचालकों ने पीड़ित के साथ मारपीट की। पीड़ित ने 112 पर कॉल करके पुलिस को बुलाया। पुलिस ने कार्रवाई करते हुए आरोपियों को थाने ले गई, लेकिन भाजपा नेता मनोज सिंह थाने में पहुंचे और आरोपियों को छुड़ाकर ले गए।
कानूनी कार्रवाई का दबाव बढ़ा
घटना की गंभीरता को देखते हुए हजरतगंज के एसीपी ने मामले में हस्तक्षेप किया। इसके बाद पुलिस ने शिकायत दर्ज कर कानूनी कार्रवाई शुरू की।
कौन हैं मनोज सिंह?
मनोज सिंह बलिया जिले के बैरिया क्षेत्र के निवासी हैं और लखनऊ के चटोरी गली में कई दुकानों का संचालन करते हैं। उनका विवादों से पुराना नाता है।
फ्रॉड के आरोप
मनोज सिंह पर कई आरोप लगे हैं, जिनमें लोगों को नौकरी का झांसा देकर ठगी करना, वसूली के नाम पर आतंक फैलाना, और फर्जी दस्तावेजों के जरिए वाई श्रेणी सुरक्षा हासिल करना शामिल है।
योगी की फोटो से छेड़छाड़ का मामला
2022 में मनोज सिंह ने समाजवादी पार्टी से चुनाव लड़ने की कोशिश की थी, लेकिन टिकट न मिलने के बाद भाजपा में शामिल हो गए। उन पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की फोटो से छेड़छाड़ करने का भी आरोप लगा था, जिसके लिए बैरिया में एफआईआर दर्ज हुई थी।
वायरल तस्वीर और बीजेपी में प्रभाव का दावा
हाल ही में मनोज सिंह की एक तस्वीर वायरल हुई है, जिसमें वह बीजेपी का पटका पहने नजर आ रहे हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री और मुख्य सचिव के साथ फर्जी फोटो एडिट कर अपनी पहुंच का दावा किया।
न्याय की मांग
इस घटना ने कानून-व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिए हैं। सत्ता संरक्षण और सुरक्षा प्राप्त मनोज सिंह के कारनामों को लेकर जनता में आक्रोश है। सरकार और प्रशासन से मांग की जा रही है कि इस मामले की निष्पक्ष जांच हो और दोषियों को सख्त सजा दी जाए।
Author: samachar
"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."