संतोष कुमार सोनी की रिपोर्ट
बांदा, “बांदा प्रेस क्लब का कुनबा दिनों दिन बढ़ रहा है और अभी तक यह किसी भी जिले में पत्रकारों का सबसे बड़ा संगठन बनकर उभरा है। इसका श्रेय बांदा प्रेस क्लब के अध्यक्ष दिनेश निगम दद्दा जी को जाता है, जिनके नेतृत्व में बांदा प्रेस क्लब सफलता के नये कीर्तिमानों को स्थापित कर रहा है।”
उक्त बातें रविवार को नरैनी में आयोजित शपथग्रहण समारोह में प्रेस क्लब के संरक्षक डॉ. बुद्धि प्रकाश अग्निहोत्री ने पत्रकारों को सम्बोधित करते हुए कही।
दरअसल नरैनी के पुकारी गांव के जय बजरंग प्राथमिक विद्यालय में बांदा प्रेस क्लब की नरैनी तहसील इकाई के पदाधिकारियों का शपथग्रहण का अवसर था, जिसमें बांदा प्रेस क्लब की मुख्य कार्यकारिणी के साथ जनपद की सभी तहसीलों के पदाधिकारी व सदस्य मौजूद रहे। इस कार्यक्रम के मुख्य अतिथि प्रेस क्लब के संरक्षक डॉ. बुद्धि प्रकाश अग्निहोत्री एवं अध्यक्ष दिनेश निगम दद्दा जी के साथ महामंत्री सचिन चतुर्वेदी आदि पदाधिकारियों ने मां सरस्वती के समक्ष दीप प्रज्ज्वलन कर कार्यक्रम की शुरूआत की।
इसके बाद अध्यक्ष दिनेश निगम दद्दा जी ने नरैनी तहसील इकाई के अध्यक्ष मंजुल मयंक शुक्ला सहित महामंत्री संतोष कुमार सोनी, वरिष्ठ उपाध्यक्ष फाज़िल शेख, संयुक्त सचिव सुशील कुमार मिश्रा, उपाध्यक्ष श्याम सुन्दर त्रिपाठी, सचिव रमाकान्त तिवारी, कार्यकारिणी सदस्य हरिप्रसाद विश्वकर्मा, राजकुमार द्विवेदी, रामयश द्विवेदी, सीताराम पटेल, हरिशंकर को पद एवं गोपनीयता की शपथ दिलाई, एवं उनसे यह वादा लिया कि वे सभी बांदा प्रेस क्लब की प्रतिष्ठा को ऊंचाई पर ले जाने में अपना सम्पूर्ण सहयोग करें।
बांदा प्रेस क्लब के महामंत्री सचिन चतुर्वेदी ने नवनिर्वाचित पदाधिकारियों को बधाई देते हुए कहा कि ये पद किसी को प्रभावित करने का साधन न बने, बल्कि समाज की सेवा करने के साथ-साथ पत्रकारों को एक करने में अपनी महती भूमिका के निर्वाह का साधन बने, तभी उस पद की गरिमा बनेगी।
नरैनी तहसील के संरक्षक *विनय निगम* ने भी पत्रकार एकता पर जोर देते हुए बताया कि बांदा के इतिहास में पहली बार ऐसा हुआ है जब पत्रकारों का कोई संगठन इतना विशाल हुआ। इसमें निश्चित रूप से सभी सकारात्मक सदस्यों का सहयोग रहा है, जिन्होंने आपसी एकता को महत्वपूर्ण समझा।
संरक्षक कमल सिंह ने पत्रकार एकता पर शेर-ओ-शायरी व कविताओं के माध्यम से उपस्थित लोगों को संदेश देने की कोशिश की कि जोश भरपूर हो और सकारात्मकता हो तो पत्रकारिता नये सोपानों का निर्माण करती है।
संरक्षक आत्माराम त्रिपाठी ने कहा कि मैं इस संस्था के लिए अपने खून का एक-एक कतरा न्यौछावर करने के लिए तैयार हूं। मुझसे जो बन पड़ेगा वो करने के लिए तैयार हूं।
कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे बांदा प्रेस क्लब के अध्यक्ष दिनेश निगम दद्दा ने उपस्थित पत्रकारों को अपने परिवार का सदस्य बताते हुए कहा, ”आपकी समस्या मेरी समस्या है, आपके सुख-दुख में हमेशा मुझे खड़ा पायेंगे। लेकिन आपको भी एक वादा करना होगा, अपनी व्यक्तिगत समस्याओं को परे रखकर पत्रकारिता करते हुए यदि आपके समक्ष कोई समस्या आती है, तो ही आप बांदा प्रेस क्लब का साथ लें। और साथ ही ये भी ध्यान रखें कि आपके किसी भी कदम से बांदा प्रेस क्लब की मान-मर्यादा व प्रतिष्ठा को कोई आंच न पहुंचे।“
अध्यक्ष दद्दा जी ने आगे बोलते हुए बताया कि हम जिस समाज में रहते हैं उसमें तमाम बुरे लोग भी हैं, जो हमारी कन्याओं और माताओं बहनों पर बुरी निगाह रखते हैं। ऐसे लोगों का काला चेहरा हम प्रमुखता के साथ शासन-प्रशासन के समक्ष रखें, जिससे हमारा समाज भी साफ-स्वच्छ बन सके। क्योंकि पत्रकारिता केवल खबर को प्रकाशित करने का काम ही नहीं है, बल्कि मुखर होकर सामाजिक बुराईयों पर प्रहार करना भी हमारी ही जिम्मेदारी होनी चाहिये।
इस पूरे कार्यक्रम में अपने संगीत से चार चांद लगाने वाले दयाराम रैकवार ने अपनी टीम के साथ पत्रकारों पर आधारित रचना को अपने रमणीय संगीत के माध्यम से दर्शकों को सुनाकर सभी का मन मोह लिया। सफल संचालन कर रहे दादू भैया ने भी बांदा से पधारी मुख्य कार्यकारिणी का जोर-शोर से अभिनन्दन किया। मंचासीन अतिथियों ने उक्त दोनों लोगों को फूलमाला पहना कर उनका आभार जताया।
कार्यक्रम में बांदा प्रेस क्लब के सचिव सुनील सक्सेना, संयुक्त सचिव श्रीष पांडेय, उपाध्यक्ष संजय मिश्रा, विशेष प्रोटोकॉल सचिव रोहित धुरिया, कोषाध्यक्ष राजेंद्र खत्री, कार्यकारिणी सदस्य सरोज त्रिपाठी, राम जी यादव, सुरेश साहू, श्रीकांत श्रीवास्तव, अभिषेक गंगेले, प्रत्यूष त्रिवेदी, राजा त्रिपाठी सहित बबेरू कमेटी के अध्यक्ष उमेश श्रीवास्तव व उनकी टीम, इसी प्रकार अतर्रा कमेटी के अध्यक्ष प्रवीण द्विवेदी व उनकी टीम के साथ नरैनी इकाई के समस्त सदस्य उपस्थित रहे। कार्यक्रम का शांतिपूर्ण समापन शपथग्रहण समारोह में शामिल हुए सभी पदाधिकारियों, सदस्यों व क्षेत्रीय पत्रकारों के सहभोज से हुआ।
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Author: samachar
"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."