अनुराग दीक्षित की रिपोर्ट
मितौली खीरी। उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा पर्यावरण को सुरक्षित बनाने के उद्देश्य को लेकर जनपद खीरी के मितौली विकास खण्ड की समस्त ग्राम पंचायतों में वृहद वृक्षारोपण कार्यक्रम संचालित किया गया था। किंतु उक्त वृक्षारोपण की जमीनी हकीकत को अगर देखा जाए तो कुल वृक्षारोपण के 5% भी पौधे उपलब्ध नहीं होंगे ।
वृक्षारोपण कार्यक्रम की जमीनी हकीकत की अगर ईमानदारी से जांच कराई जाए तो सारी हकीकत सामने आ जाएगी।
विकासखंड मितौली की समस्त ग्राम पंचायतों में वृक्षारोपण के नाम पर लाखों रुपए के बिल लगा कर सरकार को लाखों का चूना लगाया गया। पर्यावरण संतुलन बनाए रखने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा विशेष प्रयासों के चलते वृक्षारोपण कार्यक्रम मात्र कागजों पर सीमित होकर ही रह गया । अगर वस्तु स्थिति की जानकारी की जाए तो कुल वृक्षारोपण के 5% भी पौधे नहीं लगाए गए हैं ।
ज्ञात हो कि उत्तर प्रदेश की भाजपा सरकार द्वारा पर्यावरण का संतुलन बनाए रखने के उद्देश्य को लेकर सन 2022 – 23 में बृहद वृक्षारोपण कार्यक्रम संचालित किया गया था ,वन विभाग से लेकर विकास विभाग तक वृक्षारोपण कार्यक्रम कागजों पर ही संचालित किया गया।
इसी क्रम में ग्राम पंचायत संडिलवा, ग्रामपंचायत सरैयां तथा ग्राम पंचायत पिपरझला की ही जमीनी हकीकत देख ली जाय तो वस्तुस्थिति का पता चल जाएग। पेड़ सड़क के समीप आज भी पड़े देखे देखा जा सकते है। पेड पूरी तरह सूख गए थे किंतु वर्षात होने से उन पेंडो में कल्लियां पुनः निकलने लगी हैं ।
प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से आम जनता ने मांग की है, वृहद वृक्षारोपण कार्यक्रम के तहत लगाए गए पौधों की स्थलीय जांच कराई जाए तो वस्तु स्थिति का पता लग जाएगा।
Author: samachar
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