Explore

Search
Close this search box.

Search

23 February 2025 6:05 pm

लेटेस्ट न्यूज़

“मैं संघ हूं, आइए बताते हैं कैसे बने हम दुनिया के सबसे बड़े स्वयंसेवी संगठन? वीडियो ? देखिए 

54 पाठकों ने अब तक पढा

दुर्गा प्रसाद शुक्ला की रिपोर्ट 

ज्ञात हो कि आर एस एस संघ की स्थापना 1925 में नागपुर स्थित मोहिते के बाड़े में विजयादशमी के दिन की गई थी। तब से लेकर आज तक विजयादशमी के दिन आरएसएस अपना स्थापना दिवस मनाता आ रहा है जिसको लेकर विभिन्न शाखाओं द्वारा पथ संचलन निकाला जाता है।

संघ के संस्थापक डा केशव बलिराम हेडगेवार ने कहा था कि हम जन्म दिवस मनाने के लिए संघ की स्थापना नहीं कर रहे हैं। हम शक्ति की उपासना के लिए संघ की स्थापना कर रहे हैं। हमें काम अपना प्रारंभ करना है। संघ ने 100 वर्ष पूरे होने पर भी कोई बड़ा कार्यक्रम करने का तय नहीं किया है, पूरे देश में शाखा विस्तार का लक्ष्य रखा है।

राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ यह नाम अस्तित्व में आने से पहले विचार मंथन हुआ। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ, जरीपटका मंडल और भारतोद्वारक मंडल इन तीन नामों पर विचार हुआ। बाकायदा वोटिंग हुई नाम विचार के लिए बैठक में मौजूद 26 सदस्यों में से 20 सदस्यों ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ को अपना मत दिया, जिसके बाद आरएसएस अस्तित्व में आया।

‘नमस्ते सदा वत्सले मातृभूमे’ प्रार्थना के साथ पिछले कई दशकों से लगातार देश के कोने कोने में संघ की शाखायें लग रही हैं। हेडगेवार ने व्यायामशालाएं या अखाड़ों के माध्यम से संघ कार्य को आगे बढ़ाया। स्वस्थ और सुगठित स्वयंसेवक होना उनकी कल्पना में था।

आइए जानते हैं इस वीडियो में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की यात्रा –

[embedyt] https://www.youtube.com/watch?v=beX2y-vWQ40[/embedyt]

samachar
Author: samachar

"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."

लेटेस्ट न्यूज़