अंजनी कुमार त्रिपाठी की रिपोर्ट
प्रयागराज। प्रयागराज में मानवता का शर्मसार कर देने वाली घटना सामने आई है। मामला एसआरएन अस्पताल का है। करछना के रामपुर उपरहार निवासी गरीब दंपती को पोस्टमार्टम के बाद बेटे का शव घर ले जाने के लिए एंबुलेंस नहीं दी गई। गरीब मां-बाप बेटे का शव कंधे पर रखकर भारी बारिश के बीच पैदल ही निकल पड़े। इस मामले का वीडियो सामने आने के बाद अधिकारियों में हड़कंप मचा है।
रामपुर उपरहार निवासी बजरंगी यादव के पुत्र शुभम (09) की सोमवार को सेमरहा गांव में करंट से मौत हो गई थी। शव को पोस्टमार्टम के लिए एसआरएन लाया गया। मंगलवार को पोस्टमार्टम हुआ। कागजी खानापूर्ति के बाद शव मां-बाप को सौंप दिया गया। वायरल वीडियो के मुताबिक शव घर ले जाने के लिए गरीब बजरंगी ने एंबुलेंस की मांग की तो उससे पैसे मांगे गए। बजरंगी के पास देने को पैसे नहीं थे।
मजबूरन उसने बेटे का शव कंधे पर लादा और पत्नी के साथ पैदल निकल पड़ा। लगभग पांच किमी दूर चलने के बाद नए यमुना पुल पर सेना के कुछ जवानों ने एंबुलेंस की व्यवस्था की। इसी बीच राहगीरों ने घटना का वीडियो बना लिया और उसे वायरल कर दिया। अब स्वास्थ्य विभाग और प्रशासनिक अधिकारियों में हड़कंप मचा हुआ है।
स्वरूपरानी नेहरू अस्पताल के प्रमुख अधीक्षक डॉ. अजय सक्सेना ने कहा कि घटना से अस्पताल का कोई सरोकार नहीं है। सीएमओ डॉ. नानक सरन ने कहा कि मामले की जांच की जा रही है। घटनाक्रम में पोस्टमार्टम कराने वाले पुलिस कर्मियों की लापरवाही सामने आ रही है। इधर, कमिश्नर विजय विश्वास पंत ने कहा कि घटना की जांच की जा रही है। अगर परिवार राहत की श्रेणी में आता है तो उसे सुविधाएं दी जाएंगी।
पहले भी सामने आ चुका है मामला
तीन साल पहले भी एसआरएन अस्पताल में महिला मरीज की मौत के बाद अनदेखी का मामला सामने आ चुका है। शंकरगढ़ निवासी मरीज की मौत के बाद प्रबंधन ने एंबुलेंस उपलब्ध नहीं कराई थी। जिसके बाद मृतका के पति ने शव को ट्राली पर लाद करीब 45 किमी दूरी की लंबी यात्रा तय की थी और घर पहुंचा था।
Author: samachar
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