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November 23, 2024 8:33 am

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“मां तेरा दिल नहीं पसीजा, मैंने तेरा क्या बिगाड़ा था ?”; नाबालिग मां ने प्रेम में बाधक ढाई माह के बच्चे का गला घोंटा

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पुनीत नौटियाल की रिपोर्ट

इंदौर । एक नाबालिग मां ने अपने ढाई महीने के बच्चे की गला घोंट कर हत्या दी। नाबालिग ने पुलिस को बताया, बच्चा बार-बार रोता था। ठीक से संभाल नहीं पा रही थी, इसलिए मार डाला। मामला खजराना थाना क्षेत्र का है। नाबालिग एक साल पहले प्रेमी के साथ घर से भाग गई थी। प्रेमी के साथ रहने में यह बच्चा आड़े आ रहा था। परिवार ने उसकी गुमशुदगी भी दर्ज कराई। पुलिस को जब नाबालिग मिली तब वह प्रेग्नेंट थी। इसके बाद प्रेमी के खिलाफ पॉक्सो एक्ट और दुष्कर्म की धाराओं के तहत केस दर्ज कर उसे जेल भेज दिया गया।

थाना प्रभारी दिनेश वर्मा के अनुसार खजराना इलाके में रहने वाली 16 वर्षीय नाबालिग इलाके के रहने वाले फरहान के साथ जुलाई 2020 में भाग गई थी। परिवार ने लड़की की गुमशुदगी दर्ज कराई थी। एक साल बाद अक्टूबर 2021 में नाबालिग और फरहान को पुलिस ने इंदौर के समीप पीथमपुर इलाके से खोज निकाला। आरोपी फरहान पर पॉक्सो एक्ट के साथ दुष्कर्म के तहत मामला दर्ज कर को जेल भेज दिया। उस समय नाबालिग चार महीने की गर्भवती थी। 15 मार्च को बेटे को जन्म दिया। 31 मई को बच्चे की गला घोंटकर हत्या कर दी।

डीएनए टेस्ट कराने कहा तब बच्चे की मौत का पता चला

फरहान के जेल जाने के बाद से नाबालिग परिवार वालों पर लगातार उसे बाहर निकलवाने का दबाव बना रही थी। इसके बाद परिवार ने कोर्ट में एक आवेदन देकर फरहान को जेल से बाहर निकलवाया। आरोपी तब तक 5 माह की जेल काट चुका था। इधर, बेटे को जन्म देने पर पुलिस ने परिवार वालों को बच्चे का डीएनए करवाने के लिए कहा था। बच्चा कमजोर पैदा हुआ था। इस कारण परिवार वाले डीएनए टेस्ट करवाने के लिए मना करते रहे। कुछ दिन पहले खजराना थाने के जांच अधिकारी ने डीएनए टेस्ट करवाने के लिए कहा तो परिवार ने बच्चे की मौत होने की जानकारी दी। इस पर पुलिस हरकत में आई और मां को तुरंत हिरासत में लेकर पूछताछ की।

पहले बोली तबीयत खराब हुई, फिर जुर्म कबूला

पुलिस के अनुसार नाबालिग ने पूछताछ में 31 मई को बच्चे की तबीयत खराब होना बताया। बच्चे को इलाके के निजी अस्पताल ले जाने की बात भी बोलती रही। जब पुलिस ने युवती से कारण जानना चाह तो वो बोली कि बच्चे को पावडर वाला दूध दिया जा रहा था। इस कारण उसे दूध गले में अटक गया था और वो सांस नहीं ले पा रहा था। उसे अस्पताल ले गए, लेकिन उसकी मौत हो गई। लड़की द्वारा कई बार बयान बदलने और बातों को घुमाने पर पुलिस को शक हुआ। पुलिस ने जब सख्ती से पूछा तो युवती ने अपना जुर्म कबूल करते हुए कहा, मैं उसे संभाल नहीं पा रही थी। वो पूरा दिन रोता रहता था। इस कारण गला दबा कर उसे मार डाला। पुलिस ने नाबालिग के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज कर उसे बाल संप्रेक्षण गृह भेजा है।

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Author: samachar

"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."

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