रश्मि प्रभा की रिपोर्ट
केदारनाथ धाम आए यात्री दल में शामिल 6 वर्षीय बालक व एक अन्य यात्री की तबीयत अचानक खराब होने पर उन्हें हेली से रेस्क्यू कर फाटा पहुंचाया गया। जिला प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग की तत्परता से बालक सहित दोनों यात्री सकुशल अपने गंतव्य को लौट गए हैं। स्वास्थ्य विभाग ने अधिक ऊंचाई की यात्रा के दृष्टिगत यात्रियों के लिए हेल्थ एडवाइजरी जारी कर एहतियातन जरूरी कदम उठाने की अपील की है।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. बीके शुक्ला ने बताया कि राजस्थान निवासी यात्री नितिन गुप्ता के परिवार का पांच सदस्यीय दल केदारनाथ के दर्शन हेतु आया था। श्री केदारनाथ धाम पहुंचने पर यात्री दल में शामिल 6 वर्षीय अर्णव गुप्ता को सांस लेने में दिक्कत व चक्कर आने की शिकायत होने लगी, जिस पर अर्णव को तुरंत पास स्थित एसएडी केदारनाथ में लाया गया। जहां चिकित्सकों ने प्राथमिक उपचार के बाद अर्णव को हायर सेंटर रेफर कर दिया।
वहीं, कोलकता निवासी 51 वर्षीय राजू की भी सांस लेने में दिक्कत व चक्कर आने की शिकायत पर एसएडी केदारनाथ में उपचार के बाद चिकित्सकों द्वारा उसे हायर सेंटर रेफर किया गया। जिसके उपरांत जिला प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग की टीम द्वारा दोनों को ही अलग-अलग रेस्क्यू कर फाटा में एअर लिफ्ट किया गया। फाटा पहुंचने पर दोनों के स्वास्थ्य में सुधार आ गया था। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. बीके शुक्ला ने बताया कि श्री केदारनाथ यात्रा के पैदल मार्ग पर 12 चिकित्सा इकाईयों की स्थापना की गई है, जहां ऑक्सीजन की उपलब्धता सुनिश्चित की गई है।
यात्री सावधानी बरतें-
श्री केदारनाथ धाम के अधिक ऊंचाई पर होने की भौगोलिक परिस्थिति व मौसम के दृष्टिगत स्वास्थ्य एवं सुरक्षित यात्रा हेतु कुछ एहतियाती कदम उठाने जरूरी हैं। केदारनाथ यात्रा पर जाने वाले यात्रियों से गरम व ऊनी कपड़े साथ लाने, ऊंचाई वाले क्षेत्र में होने वाली बीमारियों से ग्रसित रोगी विशेष सावधानी बरतते हुए स्वास्थ्य परीक्षण के उपरांत ही यात्रा के लिए प्रस्थान करें, अपने चिकित्सक का परामर्श पर्चा व चिकित्सक द्वारा लिखी गई दवा साथ लाएं, धूम्रपान व अन्य मादक पदार्थों का सेवन न करें, यात्रा के दौरान भूखे पेट न रहने व पानी पीते रहने की अपील की है। चिकित्सकों ने यह भी कहा है कि सांस लेने में दिक्कत, ह्रदय रोगी और उच्च रक्तचाप वाले यात्रियों को सफर से पहले अपना मेडिकल चेकअप करवा लेना चाहिए और डॉक्टर की सलाह पर ही यात्रा करनी चाहिए।
एक हफ्ते में 16 तीर्थ यात्रियों की मौत
चारधाम यात्रा में अभी एक हफ्ते का समय बीता है। इस दौरान 16 लोगों की मौत स्वास्थ कारणों से हुई है। जिनमें यमुनोत्री में 8, केदारनाथ में 5, गंगोत्री में 2 और 1 बदरीनाथ में हुई। खास बात यह है कि यमुनोत्री, केदारनाथ में पैदल मार्ग और ऑक्सीजन की कमी ज्यादा होने से ये हादसे हुए हैं। बता दें कि साल 2017 में 112, 2018 में 102 और वर्ष 2019 में 91 तीर्थ यात्रियों की मौत स्वास्थ्य कारणों से हुई थी।
Author: samachar
"कलम हमेशा लिखती हैं इतिहास क्रांति के नारों का, कलमकार की कलम ख़रीदे सत्ता की औकात नहीं.."