
टीबी उन्मूलन महाभियान आजमगढ़ : बड़ी पहल की शुरुआत
जगदंबा उपाध्याय की रिपोर्ट
आजमगढ़ जनपद में टीबी उन्मूलन महाभियान तेज़ी से आगे बढ़ रहा है। जिलाधिकारी के निर्देश पर जनपद स्तरीय और ब्लॉक स्तरीय अधिकारियों ने मिलकर अब तक 264 क्षयरोगियों को गोद लिया है। यह कदम उन मरीजों के लिए बहुत सहायक सिद्ध होगा जो लंबे समय से बीमारी से जूझ रहे हैं।
गोद लिए गए मरीजों को अब नियमित रूप से पोषण पोटली और आवश्यक सहायता दी जाएगी। इसका उद्देश्य है कि क्षयरोगी न केवल दवा लें बल्कि बेहतर पोषण पाकर जल्द स्वस्थ हो सकें।
✦ आजमगढ़ में 8,000 से अधिक मरीजों का इलाज जारी
वर्तमान समय में आजमगढ़ जिले में 8,000 से अधिक क्षयरोगी उपचाराधीन हैं। राज्य सरकार ने सभी रोगियों के लिए एक विशेष योजना चलाई है जिसके तहत प्रत्येक मरीज को प्रतिमाह ₹1000 की आर्थिक सहायता सीधे खाते में भेजी जाती है।
इस धनराशि का उपयोग मरीज प्रोटीनयुक्त आहार और ज़रूरी खाद्य सामग्री खरीदने के लिए कर सकते हैं। इतना ही नहीं, शासन की ओर से सभी जांच, दवाइयाँ और पूरा उपचार निःशुल्क उपलब्ध कराया जाता है।
✦ टीबी उन्मूलन महाभियान आजमगढ़ : 5 अक्टूबर को वृहद शिविर
जिला क्षय रोग अधिकारी ने जानकारी दी कि आगामी 5 अक्टूबर को हरिऔध कला केंद्र, आजमगढ़ में वृहद क्षयरोगी शिविर का आयोजन होगा। इस शिविर में खुद जिलाधिकारी उपस्थित रहेंगे और लगभग 140 क्षयरोगियों को पोषण पोटली वितरित करेंगे।
इन पोषण पोटलियों में शामिल होगा:
मूंगफली – 1 किलो
भुना चना – 1 किलो
गुड़ – 1 किलो
सत्तू – 1 किलो
तिल/गजक – 1 किलो
ये सभी खाद्य पदार्थ क्षयरोगियों की सेहत के लिए अत्यंत लाभकारी हैं। इनसे उन्हें ताकत मिलेगी और रिकवरी तेज़ होगी।
✦ संक्रमण की पहचान और निःशुल्क जांच की सुविधा
टीबी उन्मूलन महाभियान आजमगढ़ के अंतर्गत यह सुनिश्चित किया गया है कि सभी मरीजों को आसानी से जांच और दवाएँ मिलें। शिविर स्थल पर बलगम संग्रहण, परिक्षण और दवा वितरण पूरी तरह निःशुल्क उपलब्ध रहेगा।
डॉक्टरों ने लोगों से अपील की है कि यदि किसी को –
दो सप्ताह से अधिक समय तक खाँसी,
लगातार बुखार या वजन घटना,
भूख न लगना,
या सीने में दर्द की शिकायत हो,
तो वे तुरंत शिविर में पहुँचकर जांच करवाएँ। शुरुआती अवस्था में टीबी का इलाज आसान और प्रभावी होता है।
✦ निःक्षय मित्रों का सहयोग समाजहित में सराहनीय
टीबी उन्मूलन महाभियान आजमगढ़ में सरकारी प्रयासों के साथ-साथ सामाजिक संगठनों और स्वयंसेवी संस्थाओं की भी अहम भूमिका है। कई संस्थाएँ “निःक्षय मित्र” के रूप में आगे आ रही हैं और क्षयरोगियों को आवश्यक सहयोग प्रदान कर रही हैं।
इन निःक्षय मित्रों के द्वारा भोजन सामग्री, आर्थिक सहायता और मानसिक सहयोग उपलब्ध कराया जा रहा है। यह सामूहिक प्रयास जिले को क्षयरोग मुक्त बनाने की दिशा में मील का पत्थर साबित होगा।
✦ टीबी उन्मूलन महाभियान आजमगढ़ का उद्देश्य
भारत सरकार ने वर्ष 2025 तक देश को क्षयरोग मुक्त बनाने का लक्ष्य निर्धारित किया है। इसी कड़ी में टीबी उन्मूलन महाभियान आजमगढ़ एक मजबूत कदम है। यहां प्रशासन, स्वास्थ्य विभाग, समाजसेवी संस्थाएँ और आम लोग मिलकर मरीजों को समर्थन दे रहे हैं।
इस महाभियान का उद्देश्य सिर्फ मरीजों का इलाज करना ही नहीं, बल्कि उन्हें शारीरिक, मानसिक और सामाजिक रूप से सक्षम बनाना है।
✦ टीबी से बचाव के उपाय
महाभियान के साथ-साथ लोगों को जागरूक भी किया जा रहा है कि वे किन उपायों से टीबी से बच सकते हैं। विशेषज्ञों के अनुसार –
हमेशा खाँसते या छींकते समय रूमाल/टिश्यू का इस्तेमाल करें।
संतुलित और प्रोटीनयुक्त आहार लें।
शराब और धूम्रपान से बचें।
अगर खाँसी 2 हफ्ते से ज़्यादा हो तो तुरंत जांच करवाएँ।
दवा का कोर्स बीच में न छोड़ें।
✦ टीबी उन्मूलन महाभियान आजमगढ़ : उम्मीद की नई किरण
आजमगढ़ में चल रहा यह महाभियान हजारों मरीजों के लिए उम्मीद की नई किरण लेकर आया है। अब न केवल सरकारी विभाग बल्कि आम जनता भी इस लड़ाई में शामिल हो रही है।
टीबी उन्मूलन महाभियान आजमगढ़ के अंतर्गत उठाए जा रहे कदम न सिर्फ जिले के लिए बल्कि पूरे प्रदेश और देश के लिए प्रेरणादायी हैं।
