
अनुराग गुप्ता की रिपोर्ट
रंगबाज गुरु जी बना सुर्खियों का केंद्र
उत्तर प्रदेश के सीतापुर जिले में हाल ही में घटी एक सनसनीखेज घटना ने शिक्षा विभाग की साख पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। यह मामला अब “रंगबाज गुरु जी बेल्ट कांड” के नाम से जाना जा रहा है। 23 सितंबर को हुई इस घटना ने न केवल अधिकारियों बल्कि ग्रामीणों और बच्चों को भी आंदोलित कर दिया।
प्रधानाध्यापक बृजेंद्र कुमार वर्मा, जिन्हें अब लोग रंगबाज गुरु जी कहकर पुकार रहे हैं, ने जिले के बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) अखिलेश प्रताप सिंह पर बेल्ट से हमला कर दिया। इस घटना का वीडियो और सीसीटीवी फुटेज सामने आते ही प्रदेशभर में हड़कंप मच गया।
रंगबाज गुरु जी और फर्जी हाजिरी विवाद
इस पूरे विवाद की जड़ एक फर्जी हाजिरी कांड है। आरोप है कि बीएसए अखिलेश प्रताप सिंह, हेडमास्टर बृजेंद्र वर्मा पर शिक्षिका अवंतिका गुप्ता की उपस्थिति दर्ज कराने का दबाव बना रहे थे। जब वर्मा ने ऐसा करने से इनकार किया तो दोनों के बीच तनाव बढ़ गया।
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इसी दौरान बीएसए और शिक्षिका की कुछ तस्वीरें वायरल हो गईं, जिससे मामला और तूल पकड़ गया। ग्रामीणों के बीच यह चर्चा फैल गई कि अधिकारियों की मनमानी के खिलाफ रंगबाज गुरु जी खड़े हुए और इसी वजह से टकराव हुआ।
बेल्ट कांड : सिर्फ छह सेकेंड में पांच वार
23 सितंबर को जब हेडमास्टर बृजेंद्र वर्मा बीएसए कार्यालय पहुंचे तो वहां बहस छिड़ गई। गुस्से में आकर उन्होंने पहले मेज पर फाइल पटकी और फिर कमर से बेल्ट निकालकर बीएसए पर टूट पड़े।
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सीसीटीवी फुटेज में साफ दिखा कि महज छह सेकेंड में रंगबाज गुरु जी ने बीएसए पर पांच बार प्रहार कर दिए। इस घटना के तुरंत बाद पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार कर जेल भेज दिया।
रंगबाज गुरु जी की गिरफ्तारी पर ग्रामीणों का आक्रोश
हेडमास्टर की गिरफ्तारी और निलंबन के बाद ग्रामीण और बच्चे खुलकर उनके समर्थन में उतर आए। उन्होंने स्कूल पर ताला डाल दिया और कक्षाओं का बहिष्कार कर दिया। बच्चों ने साफ कहा कि जब तक रंगबाज गुरु जी जेल से बाहर नहीं आते, वे पढ़ाई नहीं करेंगे।
यहां तक कि जब विधायक उन्हें समझाने पहुंचे तो अभिभावकों और बच्चों का गुस्सा उनके सामने भी फूट पड़ा।
बीएसए और शिक्षिका पर भी गिरी गाज
इस बेल्ट कांड के बाद शिक्षा विभाग ने कार्रवाई की गाड़ी आगे बढ़ाई।
बीएसए अखिलेश प्रताप सिंह को निलंबित कर दिया गया।
शिक्षिका अवंतिका गुप्ता को भी स्कूल से लंबे समय तक अनुपस्थित रहने के चलते पहले ही निलंबित किया जा चुका था।
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निलंबन आदेश में स्पष्ट लिखा गया कि 21 अगस्त से 20 सितंबर तक शिक्षिका स्कूल नहीं आईं और 23 सितंबर को स्पष्टीकरण देने भी उपस्थित नहीं हुईं। यही कारण बताया गया कि उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई हुई।
रंगबाज गुरु जी की पत्नी का बड़ा आरोप
रंग बाज गुरु जी
वायरल ऑडियो और वीडियो ने बढ़ाया बवाल
इस घटना के बाद सोशल मीडिया पर एक सीसीटीवी वीडियो और एक ऑडियो क्लिप वायरल हुई।
वीडियो में रंगबाज गुरु जी बीएसए की पिटाई करते हुए साफ दिखाई दे रहे हैं।
ऑडियो में कथित रूप से बीएसए और हेडमास्टर के बीच शिक्षिका की अटेंडेंस को लेकर बातचीत सुनाई दे रही है।
इन दोनों सबूतों ने मामले को और अधिक जटिल बना दिया है।
रंगबाज गुरु जी बेल्ट कांड : एक नजर में
बीएसए अखिलेश प्रताप सिंह निलंबित
प्रधानाध्यापक बृजेंद्र वर्मा उर्फ रंगबाज गुरु जी जेल में
शिक्षिका अवंतिका गुप्ता पहले से निलंबित
ग्रामीण और बच्चे आंदोलन पर
ऑडियो और वीडियो वायरल, विभाग कटघरे में
नतीजा और सवाल
रंगबाज गुरु जी बेल्ट कांड ने शिक्षा विभाग की कार्यप्रणाली और अधिकारियों की निष्पक्षता पर गहरे सवाल खड़े कर दिए हैं। जहां एक ओर हेडमास्टर की हिंसक हरकत को कोई भी जायज नहीं ठहरा सकता, वहीं दूसरी ओर बीएसए पर लगे आरोप और शिक्षिका की भूमिका ने इस मामले को संदिग्ध बना दिया है।
अब देखने वाली बात यह होगी कि जांच में सच्चाई किसके पक्ष में निकलकर आती है – बीएसए, रंगबाज गुरु जी या फिर निलंबित शिक्षिका?