कैबिनेट मंत्री अनिल राजभर ने समाजवादी पार्टी पर जातीय राजनीति करने का आरोप लगाते हुए कहा कि सपा के पास अब कोई ठोस मुद्दा नहीं बचा। अखिलेश यादव पर हमला करते हुए उन्होंने कथावाचक प्रकरण और विधायकों के निष्कासन पर भी सवाल उठाए।
🔴 जगदंबा उपाध्याय की रिपोर्ट
गंवारा(आजमगढ़)। प्रदेश सरकार के कैबिनेट मंत्री अनिल राजभर ने बुधवार को समाजवादी पार्टी और उसके राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव पर तीखा प्रहार किया। भाजपा नेता रानू राजभर की पत्नी के त्रयोदशाह कार्यक्रम में शिरकत करने के बाद मीडिया से बातचीत में उन्होंने आरोप लगाया कि समाजवादी पार्टी अब मुद्दाविहीन हो चुकी है, इसलिए जातीय राजनीति का सहारा लेकर समाज में विभाजन की साजिश रच रही है।
🔹अब सपा के पास न कोई दिशा, न ही कोई मुद्दा: अनिल राजभर
मंत्री अनिल राजभर ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि समाजवादी पार्टी अब केवल प्रेस वार्ताओं तक सीमित हो गई है। उन्होंने आरोप लगाया कि सपा के पास न नौजवानों के लिए कोई योजना है, न ही महिलाओं या प्रदेश के समग्र विकास को लेकर कोई गंभीर सोच बची है।
उन्होंने कहा—
“जब तीन विधायकों ने प्रदेश की कानून-व्यवस्था का समर्थन किया, तो अखिलेश यादव ने उन्हें पार्टी से निकाल दिया। यह सिद्ध करता है कि सपा केवल अपनी राजनीतिक सुविधा के अनुसार फैसले लेती है, न कि समाजहित में।”
🔹कथावाचक कांड पर भी सपा की राजनीति: आरोप
कैबिनेट मंत्री ने हाल ही में चर्चित कथावाचक प्रकरण का भी उल्लेख करते हुए कहा कि इस मामले में प्रशासन ने पूरी तरह कानून के दायरे में रहकर त्वरित कार्रवाई की है। फिर भी सपा प्रमुख अखिलेश यादव इसे जातीय चश्मे से देखने की कोशिश कर रहे हैं।
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उन्होंने आरोप लगाया कि अखिलेश यादव का उद्देश्य समाज में जातिगत भ्रम फैलाना है, ताकि लोग मुद्दों से भटक जाएं। लेकिन जनता अब समझदार हो चुकी है और इस जातीय छलावे का जवाब 2027 के चुनाव में जरूर देगी।
🔹”हर वर्ग सपा के जातीय जाल को काटेगा“
अनिल राजभर ने भरोसा जताया कि प्रदेश का हर अगड़ा, पिछड़ा, दलित और अल्पसंख्यक वर्ग अखिलेश यादव की इस विभाजनकारी राजनीति को पहचान चुका है। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में हर समाज सपा को उसके व्यवहार का माकूल जवाब देगा।
🔹“संत समाज पर कानून की बात हास्यास्पद”
संत समाज को लेकर अखिलेश यादव के हालिया बयान को अनिल राजभर ने हास्यास्पद और अतार्किक बताया। उन्होंने कहा कि यह बयान इस बात को साबित करता है कि सपा सिर्फ राजनीतिक लाभ के लिए संवेदनशील विषयों का भी राजनीतिकरण कर रही है।
कुल मिलाकर, भाजपा के वरिष्ठ नेता अनिल राजभर ने समाजवादी पार्टी और उसके नेतृत्व पर सीधा आरोप लगाते हुए कहा कि जातीय ध्रुवीकरण की कोशिशें अब सफल नहीं होंगी। उन्होंने भरोसा जताया कि प्रदेश की जनता अब विकास और कानून-व्यवस्था को प्राथमिकता दे रही है और यही भाजपा की ताकत बनेगी।