
भारतीय रेलवे से जुड़े वीडियो सोशल मीडिया पर आए दिन वायरल होते रहते हैं, लेकिन हाल ही में सामने आया एक वीडियो लोगों के बीच गुस्से, डर और अविश्वास की भावना पैदा कर रहा है। वायरल वीडियो में दावा किया गया है कि रेलवे स्टेशन पर मिलने वाली रेल नीर की बोतलें नल के पानी से दोबारा भरकर यात्रियों को बेची जा रही हैं। यह घटना सामने आने के बाद यात्रियों के मन में पेयजल की गुणवत्ता को लेकर गंभीर सवाल उठ खड़े हुए हैं।
वीडियो में क्या दिखाई दिया?
यह वीडियो सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म X (पूर्व में ट्विटर) पर तेजी से वायरल हो रहा है। वीडियो को @mktyaggi नाम के अकाउंट से शेयर किया गया था। वीडियो में एक युवक रेलवे स्टेशन पर लगे नल की टोंटी खोलकर खाली रेल नीर की प्लास्टिक बोतलों में पानी भरते हुए नजर आता है और बाद में वह उन बोतलों को लेकर ट्रेन की ओर बढ़ जाता है, मानो यात्रियों को बेचने जा रहा हो। सोशल मीडिया पोस्ट में यह वीडियो उत्तर प्रदेश के पंडित दीनदयाल उपाध्याय रेलवे स्टेशन का बताया जा रहा है।
वीडियो वायरल होने के बाद लोग इस बात से चिंतित दिखाई दे रहे हैं कि प्लेटफॉर्म पर बिकने वाली पानी की कीमतें चाहे कितनी ही अधिक क्यों न हों, लेकिन यदि बोतलों में स्वच्छ पानी के बजाय सीधे नल का पानी भरकर बेचा जा रहा है, तो यात्रियों की सेहत गंभीर जोखिम में पड़ सकती है।
लोगों की प्रतिक्रिया: रेल मंत्रालय पर सवाल
वीडियो ने जहां कई यात्रियों के मन में भरोसा तोड़ा है, वहीं सोशल मीडिया पर प्रतिक्रियाएं भी दो समूहों में बंटी हुई दिखाई दीं। कुछ लोगों का आरोप था कि रेलवे प्लेटफॉर्म पर इस तरह की अनियमितताएं लंबे समय से होने की बातें सामने आती रही हैं और संबंधित अधिकारियों को इस दिशा में कठोर कार्रवाई करनी चाहिए।
जबकि दूसरी ओर कुछ लोगों ने वीडियो को भ्रामक बताते हुए लिखा कि वीडियो में दिखने वाली बोतलें रेल नीर की सील पैक बोतलें साबित नहीं होतीं, और किसी भी ब्रांड की खाली बोतल को इस्तेमाल किया जा सकता है। एक यूजर ने लिखा, “बकलोल हो क्या? सील और बिना सील का अंतर जनता को नहीं पता क्या? सिर्फ रेल नीर को बदनाम क्यों कर रहे हो?”
एक और यूजर ने लिखा, “आजकल कोई भी अनसील्ड बोतल नहीं खरीदता। लोग खुद ध्यान रखते हैं कि पैकिंग सही है या नहीं।” इसके बावजूद कई यूजर केंद्र सरकार और रेल मंत्रालय को निशाने पर लेते नजर आए। एक टिप्पणी में लिखा गया, “रेल मंत्री जी को रील बनाने से फुर्सत मिले तभी तो ध्यान देंगे।” वहीं एक अन्य यूजर ने तंज में लिखा, “इसीलिए 1 रुपया सस्ता किया था क्या?”
यात्रियों में बढ़ी चिंता: अब पानी भी भरोसेमंद नहीं?
वीडियो सामने आने के बाद कई यात्रियों ने सोशल मीडिया पर कहा कि अब रेलवे स्टेशन पर पीने का पानी खरीदने में भी डर लगने लगा है और लोग यात्रा के दौरान घर से पानी ले जाने को ही सुरक्षित विकल्प मान रहे हैं। यह स्थिति रेलवे के लिए गंभीर चिंता का विषय है, क्योंकि स्वच्छ पेयजल यात्रियों की मूल आवश्यकताओं में शामिल है।
हालांकि इस वीडियो की आधिकारिक पुष्टि अभी तक भारतीय रेलवे या रेल मंत्रालय द्वारा जारी नहीं की गई है, लेकिन यह मामला साफ तौर पर दिखा रहा है कि लोग रेलवे की सेवाओं को लेकर कितने संवेदनशील और सतर्क हो चुके हैं।
क्या इस वीडियो पर जांच होगी?
रेलवे की ओर से आधिकारिक प्रतिक्रिया आने का इंतज़ार किया जा रहा है। यदि वीडियो में दिखाया गया मामला सच साबित होता है, तो यह निश्चित रूप से यात्रियों की सुरक्षा और परिवहन व्यवस्था दोनों के लिए चिंता का विषय होगा। यात्रियों की मांग है कि रेलवे सख्त निरीक्षण और अनियमितताओं पर कड़ी कार्रवाई करे।
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क्या वायरल वीडियो में दिखाई गई बोतलें वास्तव में रेल नीर की थीं?
अब तक इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है। कई यूजर्स का कहना है कि केवल रेल नीर को बदनाम किया जा रहा है, जबकि बोतल किसी भी ब्रांड की हो सकती है।
क्या रेलवे ने इस मामले पर कोई बयान जारी किया है?
अब तक रेलवे या रेल मंत्रालय की ओर से इस वीडियो पर आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं दी गई है।
यात्री सुरक्षित पानी कैसे सुनिश्चित कर सकते हैं?
हमेशा केवल सील पैक बोतल ही खरीदें और लेबल तथा कैप की टाइट पैकिंग की जांच जरूर करें।






